चारों तरफ जंगल, पत्थरों की चट्टानें और बीच में सदियों पुराना 'शिवलिंग', छिपे हैं कई रहस्य(PICS)

Edited By Ekta, Updated: 15 Sep, 2019 11:31 AM

rock rocks and age old shivling in the middle

चारों तरफ जंगल, पत्थरों की चट्टानें और बीच में सदियों पुराना ''शिवलिंग'' इन दिनों सोशल मीडिया पर खूब बायरल हो रहा है। दरअसल हिमाचल प्रदेश के लगभग 400 वर्ष पुराने जंगल में स्थित शिवलिंग में कई रहस्य समाए हुए हैं। बिलासपुर के अंतर्गत आने वाली ग्राम...

बिलासपुर (मुकेश): चारों तरफ जंगल, पत्थरों की चट्टानें और बीच में सदियों पुराना 'शिवलिंग' इन दिनों सोशल मीडिया पर खूब बायरल हो रहा है। दरअसल हिमाचल प्रदेश के लगभग 400 वर्ष पुराने जंगल में स्थित शिवलिंग में कई रहस्य समाए हुए हैं। बिलासपुर के अंतर्गत आने वाली ग्राम पंचायत डंगार के अंतर्गत गांव चोखना के पास जंगल में शिवलिंग ने अपने अंदर न जाने कितने ही रहस्य अपनी गहराई में समाए हुए हैं।
PunjabKesari

माना 21वीं सदी है लेकिन अगर आस्था है तो कोई और बात करना बेईमानी हो जाती है। गांव के लोगों के अनुसार यह शिवलिंग लगभग 300 साल पुराना है और कई बुजुर्ग इसे 400 साल पुराना बता रहे हैं। यह पत्थर की शिवलिंग एक बड़े पत्थर के ऊपर गांव चोखना और छंदोह गांव के जंगल के बीच पहाड़ी पर विराजमान है।
PunjabKesari

यहां पर तीन पंचायतों दधोल, पड़यालग, डंगार की सीमा भी यही पर मिलती है। स्थानीय बुजुर्गों के अनुसार यह राजा हीरा चंद के समय का बना हुआ शिवलिंग है और यहां बड़े-बड़े पत्थरों के ऊपर ओखली भी बनी हुई है, जिससे लगता है कि पुराने समय में लोग सामग्रियों की कुटाई इन्हीं ओखलियों मे करते थे।
PunjabKesari

बुजुर्गों का कहना है कि यहां 360 देहल भी बनी हुई थी पर यह देहल आज के समय में अस्त-व्यस्त और विलुप्त हो गई है। जब भी शिवरात्रि या शिव का कोई त्यौहार होता है तो यहां स्थानीय लोग एकत्रित होकर शिव लिंग की पूजा करते हैं, दूध चढ़ाना और उत्सव को मानते हैं। इन लोगों में इस शिवलिंग के प्रति बहुत आस्था है। कुछ लोग हर रोज यहां पूजा करने आते हैं और भगवान शिव से मनोकामना मांगते हैं।
PunjabKesari

Related Story

Trending Topics

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!