Edited By Vijay, Updated: 08 Apr, 2025 06:14 PM

तीन माह बाद 16580 फुट की ऊंचाई पर स्थित शिंकुला दर्रा वाहनों की आवाजाही के लिए बहाल कर दिया गया है। शिंकुला दर्रा खुलने से वाया पद्दुम-निम्मू होकर मनाली से लेह-लद्दाख का सीधा संपर्क फिर से स्थापित हो गया है।
मनाली (सोनू): तीन माह बाद 16580 फुट की ऊंचाई पर स्थित शिंकुला दर्रा वाहनों की आवाजाही के लिए बहाल कर दिया गया है। शिंकुला दर्रा खुलने से वाया पद्दुम-निम्मू होकर मनाली से लेह-लद्दाख का सीधा संपर्क फिर से स्थापित हो गया है। इससे जंस्कार घाटी के 20 हजार से अधिक लोगों को राहत मिली है और पर्यटन कारोबार को नया बल मिलने की उम्मीद है।
दर्रा बहाल होने के बाद चीफ इंजीनियर राजेश राय ने वाहनों को हरी झंडी दिखाई। इस अवसर पर 14 कृतिक बल के उपनिदेशक कर्नल वाईएस तोमर, मेजर उत्कर्ष शुक्ला, कैप्टन सूर्या और गर्ग कंपनी के इंचार्ज मनजिंदर सिंह भी मौजूद रहे। राजेश राय ने बताया कि बीआरओ की योजक परियोजना के तहत 126 आरसीसी के जवानों ने माइनस 30 से 35 डिग्री तापमान में 25 फुट बर्फ हटाकर इस मार्ग को बहाल करने के सफलता हासिल की है।
बता दें कि शिंकुला दर्रा रणनीतिक रूप से भी अहम है, क्योंकि यह मनाली से लेह को जोड़ने वाला तीसरा विकल्प है। यहां जल्द ही ऑल वैदर टनल का निर्माण कार्य भी शुरू किया जाएगा।
दर्रा खुलते ही पहले दिन मनाली से 27 वाहन जंस्कार के लिए रवाना हुए। जब तक दर्रा दोतरफा आवाजाही के लिए पूर्ण रूप से नहीं खुलता, तब तक यातायात एकतरफा रहेगा। डीएसपी राज कुमार ने वाहन चालकों से सुबह 7 से 11 बजे के बीच ही यात्रा करने का आग्रह किया है। दारचा चैक पोस्ट प्रभारी मेघ सिंह ने बताया कि मनाली से रवाना हुए सभी वाहन सुरक्षित जंस्कार पहुंच गए हैं।
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