Edited By Simpy Khanna, Updated: 26 Aug, 2019 01:06 PM
चारों तरफ पानी ही पानी और बीच में बना सुंदर मंदिर। इन दिनों ऐसी खूबसूरत तस्वीर आपको कुटलहैड़ विधानसभा क्षेत्र के अंदरौली (रायपुर मैदान) पहुंचते ही दिखाई देती है। ऊना, हमीरपुर जिलों के अलावा पड़ोसी पंजाब से सैकड़ों लोग वीकएंड मनाने और साथ ही गोबिंद...
बंगाणा (शर्मा): चारों तरफ पानी ही पानी और बीच में बना सुंदर मंदिर। इन दिनों ऐसी खूबसूरत तस्वीर आपको कुटलहैड़ विधानसभा क्षेत्र के अंदरौली (रायपुर मैदान) पहुंचते ही दिखाई देती है। ऊना, हमीरपुर जिलों के अलावा पड़ोसी पंजाब से सैकड़ों लोग वीकएंड मनाने और साथ ही गोबिंद सागर झील के बीच में बने बाबा गरीब नाथ मंदिर के दर्शन करने के लिए आते हैं। बरसात के दिनों में गोबिंद सागर झील का स्तर ऊपर आ जाता है, जिसकी वजह से यह मंदिर जुलाई से नवंबर माह तक चारों से तरफ पानी से घिरा रहता है।
ऐसे पहुंचे गरीबनाथ मंदिर
अंदरौली स्थित बाबा गरीबनाथ का प्राचीन मंदिर थानाकलां-भाखड़ा सडक़ पर पड़ता है और इसकी हाईवे से अच्छी कनेक्टीविटी है। मंदिर को देखने के लिए रोजाना सैंकड़ों लोग आ रहे हैं क्योंकि इन दिनों मंदिर चारों तरफ झील के पानी से घिरा हुआ है। मंदिर आने-जाने के लिए मोटर बोट की व्यवस्था की है। इस मंदिर के लिए ऊना से बीहडू नेशनल हाईवे 503ए के रास्ते पहुंचा जा सकता है। वहीं नंगल पंजाब की तरफ से आने वाले लोग भाखड़ा के रास्ते अंदरौली पहुंच सकते हैं, जबकि हमीरपुर की तरफ से आने वाले लोग थानाकलां-मंदली के रास्ते इस जगह पहुंच सकते हैं। इस जगह के लिए बस सुविधा भी उपलब्ध है।
बाबा गरीबनाथ की तपोस्थली
गोबिंद सागर झील के बीच मंदिर बाबा गरीब नाथ की तपोस्थली है। कहा जाता है कि इस स्थान पर बाबा गरीब नाथ ने लगभग 40 साल तक घोर तपस्या की थी। मंदिर परिसर में अमलताश का लगभग 500 वर्ष पुराना पेड़ भी है, जिस जगह बाबा गरीब नाथ की प्रतिमा स्थापित की गई है। स्थानीय लोगों के मुताबिक गोबिंद सागर झील से पहले इस स्थान पर बहुत घना जंगल होता था। लेकिन 60 के दशक में गोबिंद सागर झील बनने से अब मंदिर का हिस्सा ही शेष रह गया है। इस एरिया में प्रदेश सरकार का वाटर स्पोर्ट्स गतिविधियां शुरू करने की योजना है। इसके लिए कुटलैहड़ पर्यटन विकास समिति गठित की गई है। जिससे अंदरौली, रायपुर मैदान, दोबड़ और बडौर में पर्यटन को बढ़ावा मिलने की उम्मीद बंध गई है।
क्या कहते हैं श्रद्धालु
मैहतपुर से आई किरण देवी तथा शाहतलाई से आए अभिषेक ने कहा कि वह गोबिंद सागर झील के बीच बने बाबा गरीब नाथ मंदिर में दर्शनों के लिए आए हैं और यहां आकर उन्हें बहुत अच्छा लग रहा है। पानी की वजह से घिरा होने के चलते मंदिर तक मोटर बोट के माध्यम से पहुंचे। वहीं जालंधर से पहली बार आए महेश अरोड़ा ने कहा कि दोस्तों से उन्हें इन मंदिर के बारे में पता चला और यहां आकर उन्हें शांति की अनुभूति हो रही है।
पर्यटन को बढ़ावा देने की कोशिश
डी.सी. ऊना संदीप कुमार ने कहा कि जिला ऊना में बाबा गरीब नाथ मंदिर के साथ-साथ अनेकों रमणीक स्थल हैं। इन पर्यटक स्थलों को विकसित कर यहां पर आधारभूत ढांचा मजबूत करने के प्रयास किए जा रहे हैं। जल्द ही गोबिंद सागर झील में जल क्रीडाएं शुरू होंगी। इसके अलावा मंदिर पीर गौंस का जीर्णोद्धार 11 करोड़ रुपए की लागत से किया जाएगा।