Edited By Kuldeep, Updated: 07 Dec, 2025 09:55 PM

हिमाचल प्रदेश में लगातार बड़ रही आपदा की घटनाओं को देखते हुए तथा राज्य भूकंप के प्रति संवेदनशील होने के कारण सरकार ने राज्य में 100 भूकंप प्रारंभिक चेतावनी उपकरण लगाने का निर्णय लिया है।
शिमला (भूपिन्द्र): हिमाचल प्रदेश में लगातार बड़ रही आपदा की घटनाओं को देखते हुए तथा राज्य भूकंप के प्रति संवेदनशील होने के कारण सरकार ने राज्य में 100 भूकंप प्रारंभिक चेतावनी उपकरण लगाने का निर्णय लिया है। यह उपकरण राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के सहयोग से लगाए जा रहे हैं। प्रथम चरण में राज्य के अलग-अलग जिलों में जल्द ही 10 उपकरण लगाए जाएंगे। हिमाचल प्रदेश में गत 3 वर्षों से आपदा से होने वाले नुक्सान में बढ़ौतरी हुई है।
गत 3 वर्षों में राज्य में भारी बारिश, बादल फटने, बाढ़, पानी में डूबने व भूस्खलन के कारण 636 लोगों की मृत्यु हुई हैं, जबकि 1738 लोग घायल हुए हैं। इस दौरान प्राकृतिक आपदा से 19945.9 करोड़ रुपए का नुक्सान हुआ है। केंद्र व राज्य सरकार ने अधिसूचित आपदाओं में मारे गए व्यक्तियों के परिवारों को कुल 262.42 करोड़ की अनुग्रह राशि प्रदान की है। गत 3 वर्षों में केंद्र सरकार से प्रदेश को राज्य आपदा मोचन निधि व राष्ट्रीय आपदा मोचन के तहत तत्काल सहायता, अनुग्रह, राहत, मुरम्मत व पुनर्निर्माण मदों से 3269.16 करोड़ रुपए प्राप्त हुए, जिसमें से राज्य सरकार 2968.32 करोड़ रुपए खर्च कर चुकी है।
टारिंग का कार्य हो रहा प्रभावित
राज्य में सर्दियों के बढ़ने तथा रात के तापमान में तेजी से गिरावट होने से टारिंग का कार्य प्रभावित हो रहा है। तापमान के गिरने से राज्य में टारिंग का कार्य अब नहीं हो पाएगा। ऐसे में लोगों को अभी सड़कें पक्की होने का इंतजार करना होगा। अब राज्य में टारिंग का कार्य अगले वर्ष अप्रैल माह से ही हो पाएगा।