Edited By Vijay, Updated: 23 Oct, 2024 10:54 AM
हिमाचल प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल (आईजीएमसी) में मरीजों को पर्ची बनाने के लिए अब लंबी-लंबी लाइनों में खड़े होने की जरूरत नहीं है।
शिमला (राजेश): हिमाचल प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल (आईजीएमसी) में मरीजों को पर्ची बनाने के लिए अब लंबी-लंबी लाइनों में खड़े होने की जरूरत नहीं है। मरीज व तीमारदार न्यू ओपीडी स्थित द्वितीय मंजिल पर्ची काऊंटर में ‘आभा मोबाइल’ एप से मात्र एक मिनट में पर्ची बना सकेंगे। अस्पताल ने प्रबंधन एचएमआईएस (हॉस्पिटल मैनेजमैंट एंड इंफॉर्मेशन सिस्टम) की यह सुविधा अस्पताल में शुरू कर दी है। इसके लिए अस्पताल प्रबंधन की ओर से न्यू ओपीडी में विशेष काऊंटर भी खोल दिया गया है, जिसमें मरीज आभा मोबाइल एप से आसनी से पर्ची बना सकेंगे। इसके लिए अस्पताल प्रबंधन द्वारा और अस्पताल आईटी कर्मचारियों व अधिकारियों द्वारा भी काऊंटर पर जाकर मरीजों को जागरूक किया जा रहा है और बताया जा रहा है कि वह कैसे बिना लाइन में खड़े होकर मात्र एक से दो मिनट में पर्ची बना सकते हैं। पर्ची काऊंटर पर मरीजों को आभा एप के बारे में जागरूक कर रहे आईजीएमसी के एक कर्मचारी ने बताया कि सरकार व अस्पताल प्रबंधन ने मरीजों के लिए नई सुविधा शुरू की है। जिससे मात्र एक मिनट में पर्ची बनेगी।
ऐसे बनेगी पर्ची
आईजीएमसी आने वाले मरीज को आभा मोबाइल एप से पर्ची बनाने के प्रोसैस के लिए मोबाइल एंड्रायड या एप्पल मोबाइल से ‘आभा एप’ डाऊनलोड करनी होगी। वहीं इस मोबाइल एप पर अपने मोबाइल नंबर या आभा नंबर से लॉगिन करना होगा। जिससे आभा मोबाइल एप एक्टिव हो जाएगी।
काऊंटर पर लगे स्कैन कोड में स्कैन कर जनरेट करना होगा टोकन नंबर
मोबाइल एप एक्टिव होने के बाद पर्ची काऊंटर पर प्रबंधन की ओर से स्कैन कोड लगाए गए हैं। एप के माध्यम से स्कैन कोड में स्कैन करने पर एक टोकन नंबर जनरेट होगा। यह टोकन नंबर विशेष पर्ची काऊंटर में बैठे कर्मचारी को देना होगा और किस विभाग में जांच करवानी है यह बताना होगा। इस पर कर्मचारी पर्ची बनाकर देगा। इस प्रोसैस में मात्र एक मिनट से अधिक भी नहीं लगेगा और पर्ची बन जाएगी।
एम्स बिलासपुर सहित अन्य अस्पतालों में मिलेगी ऐसी सुविधा
स्वास्थ्य विभाग व अस्पताल प्रबंधन एचएमआईएस (हॉस्पिटल मैनेजमैंट एंड इंफॉर्मेशन सिस्टम) के तहत यह सुविधा आईजीएमसी, एम्स बिलासपुर सहित शिमला के केएनएच, डीडीयू सहित रामपुर, ठियोग सहित अन्य अस्पतालों में यह सुविधा मिलेगी। आईजीएमसी सहित आने वाले समय में अस्पतालों में इसी प्रोसैस से पर्ची बनेगी। मौजूदा समय में आईजीएमसी में दोनों तरीके से पर्ची बन रही है, जिसमें पर्ची काऊंटर में कर्मचारी को पहले की तरह नाम, मोबाइल नंबर, पति या पिता का नाम व विभाग सहित अन्य डिटेल भरने के बाद पर्ची बन रही है। इसमें एक-एक पर्ची बनने के लिए अधिक समय लगा रहा है और घंटों लाइन में खड़े रहना पड़ रहा है, लेकिन आभा मोबाइल एप से अब पर्ची बनाना आसान होगा।
हिमाचल की खबरें Twitter पर पढ़ने के लिए हमें Join करें Click Here
अपने शहर की और खबरें जानने के लिए Like करें हमारा Facebook Page Click Here