Edited By Vijay, Updated: 19 Aug, 2025 06:35 PM

दृष्टिबाधित संघ ने अपनी मांगों को लेकर विधानसभा मानसून सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को शिमला के चौड़ा मैदान में धरना-प्रदर्शन किया और भारी बारिश के बावजूद नारेबाजी की।
शिमला (संतोष): दृष्टिबाधित संघ ने अपनी मांगों को लेकर विधानसभा मानसून सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को शिमला के चौड़ा मैदान में धरना-प्रदर्शन किया और भारी बारिश के बावजूद नारेबाजी की। दोपहर बाद संघ के 5 सदस्यों का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री से मिला, जिसमें उनकी मांगों को लेकर चर्चा हुई। इसमें एचआरटीसी की बसों में नि:शुल्क यात्रा के लिए 200 रुपए की फीस माफ करने की मांग को पूरा किया गया, लेकिन बैकलॉग की मांग पर विरोधाभास बना रहा, जिस पर संघ के पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री से अपनी अध्यक्षता में विभागीय सचिव के साथ बैठक करने की मांग रखी। बैकलॉग से नौकरियां देने के मामले में अब संघ ने निर्णय लिया है कि सितम्बर माह में विधानसभा का घेराव किया जाएगा, वहीं दिल्ली में राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खरगे तक अपनी मांगों को लेकर आवाज बुलंद की जाएगी।
संगठन के अध्यक्ष शोभू राम, महासचिव लक्की चौहान, वरिष्ठ उपाध्यक्ष शिशुपाल मेहता, कनिष्ठ उपाध्यक्ष सूरज शर्मा और संयुक्त सचिव राजकुमार आदि ने कहा कि दृष्टिहीन पिछले 680 दिनों से अधिक समय से शिमला के कालीबाड़ी स्थित रेन शैल्टर में धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं। उनका कहना है कि वर्ष 1995 से लंबित बैकलॉग नियुक्तियों को पूरा करने की मांग वे बार-बार सरकार के समक्ष उठा रहे हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। जिन बेरोजगार दृष्टिहीनों को आवास योजना के तहत मकान मिले हैं, उन्हें बीपीएल श्रेणी से बाहर किया जा रहा है, जिससे वे अन्य सरकारी लाभों से वंचित हो रहे हैं। संगठन ने सरकार से मांग की है कि बैकलॉग आधार पर नियुक्तियां जल्द पूरी की जाएं, सामाजिक सुरक्षा पैंशन में बढ़ौतरी की जाए और दृष्टिहीनों को हरसंभव सुविधा उपलब्ध करवाई जाए, ताकि वे आत्मनिर्भर बन सकें।