Edited By Kuldeep, Updated: 24 Mar, 2025 10:27 PM

उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि सरकार वर्ष 2027 तक बिलासपुर को रेलवे लाइन से जोड़ देगी। उन्होंने यह जानकारी विधायक राकेश जम्वाल व रणधीर शर्मा की तरफ से पूछे प्रश्न के उत्तर में दी।
शिमला (कुलदीप): उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि सरकार वर्ष 2027 तक बिलासपुर को रेलवे लाइन से जोड़ देगी। उन्होंने यह जानकारी विधायक राकेश जम्वाल व रणधीर शर्मा की तरफ से पूछे प्रश्न के उत्तर में दी। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि किसी अधिकारी या विभाग के स्तर पर धनराशि के पड़े रहने की बजाए इसे सरकारी कोष में जमा किया जाएगा। दरअसल प्रश्नकाल के दौरान भाजपा विधायक त्रिलोक जम्वाल ने रेल लाइन निर्माण तथा केंद्र से इसके निर्माण के लिए मिली मदद का मामला उठाया।
उन्होंने सरकार से जानना चाहा कि केंद्र सरकार ने इस रेल लाइन के निर्माण के लिए 980 करोड़ रुपए दिए हैं तथा बजट की किताब में 52 करोड़ रुपए की बात कही गई है। केंद्र से मिली राशि पर 72 करोड़ रुपए ब्याज भी बैंक से मिला है तथा यह राशि 1,052 करोड़ रुपए हो गई है। इस पर उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि 63.1 किलोमीटर लंबी इस रेल लाइन के निर्माण पर 6753 करोड़ रुपए खर्च होने हैं। उन्होंने कहा कि हवाई अड्डों के निर्माण के साथ-साथ रेलवे के लिए भी केंद्र को हिमाचल की मदद करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि सरकार की मंशा है कि केंद्र सरकार प्रदेश में हवाई अड्डों व रेल लाइन का निर्माण करवाए तथा मंडी में भी हवाई अड्डा बनना चाहिए।
विधायक रणधीर शर्मा ने इस दौरान जानना चाहा कि क्या भानुपल्ली-बिलासपुर रेल लाइन के निर्माण के लिए अपने हिस्से की 1440 करोड़ रुपए की राशि दी है। उन्होंने कहा कि इस रेल लाइन के निर्माण के लिए केंद्र से मिली रकम को बैंक से निकाल कर ट्रेजरी में रखने का क्या उद्देश्य है। उन्होंने यह भी कहा कि बिलासपुर-बैरी के सुरंग निर्माण के टैंडर हो गए हैं। मगर भू-अधिग्रहण नहीं हुआ है। इसके जवाब में मुकेश अग्निहोत्री ने कहा कि सरकार रेलवे के भू-अधिग्रहण के मुद्दे पर केंद्र से बात कर रही है। उन्होंने कहा कि बिलासपुर से बैरी तक रेल लाइन का निर्माण से एक उद्योग को फायदा होगा। उन्होंने कहा कि बिलासपुर से मंडी व लेह-लद्दाख तक सामरिक महत्व की रेल लाइन के निर्माण को लेकर केंद्र से चर्चा हो रही है।