Edited By Kuldeep, Updated: 28 Aug, 2024 05:27 PM
हिमाचल प्रदेश विधानसभा में बुधवार को सराज वन मंडल के सुराग शिल्ह जंगल में हरे पेड़ों के अवैध कटान का मामला उठा। विधायक सुरेंद्र शौरी ने नियम 62 के तहत ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के माध्यम से यह मामला उठाया।
शिमला (भूपिंद्र): हिमाचल प्रदेश विधानसभा में बुधवार को सराज वन मंडल के सुराग शिल्ह जंगल में हरे पेड़ों के अवैध कटान का मामला उठा। विधायक सुरेंद्र शौरी ने नियम 62 के तहत ध्यानाकर्षण प्रस्ताव के माध्यम से यह मामला उठाया। इसके जवाब में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सुराग शिल्ह जंगल में वर्ष 2022 में 836 सूखे पेड़ों (सालवेज वृक्ष) को काटने के लिए 2 साल के लॉट आबंटित किए थे। यह 836 सालवेज वृक्ष 2,000 मीटर से 3,150 मीटर की ऊंचाई वाले सुराग शिल्ह व भिंडली के ऊंचे जंगलों में करीब 550 हैक्टेयर क्षेत्र में फैले हुए हैं, जिनकी कटाई, परिवर्तन और परिवहन का काम वन निगम द्वारा कुल्लू के मदन सूद को दिया गया था।
उन्होंने कहा कि विधायक के आरोपों के बाद डीएफओ बंजार व वन निगम के कर्मचारियों की एक संयुक्त टीम ने जांच की तथा सामने आया कि 836 सालवेज पेड़ों में राई, जोश, रखाल, खरशु, कैल व मेपल आदि के पेड़ हैं। उन्होंने बताया कि वहां पर 16 तोश के पेड़ों को अवैध रूप से काटा गया था, जिसको लेकर बंजार पुलिस स्टेशन में एफआईआर दर्ज की गई है तथा पुलिस मामले की जांच जारी है, साथ ही ठेकेदार को 99 लाख 47 लाख 600 रुपए का जुर्माना लगाया गया है। उन्होंने कहा कि वहां पर 358 पेड़ नियमानुसार काटे गए हैं।
डीएफओ को दीं पेड़ काटने की शक्तियां
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश सरकार ने एसओपी में बदलाव किया गया है, जिसमें डीएफओ को पेड़ काटने की अनुमति देने की शक्तियां दी गई हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि हरे पड़ों को काटने नहीं दिया जाएगा। इससे पहले विधायक सुरेंद्र शौरी ने आरोप लगाया कि राज्य में सालवेज की आड़ में हरे पेड़ों को काटा जा रहा है। उन्होंने कहा कि सुराग शिल्ह जंगल में 836 सूखे पेड़ों को काटने की अनुमति दी गई थी, लेकिन वहां पर 400 से अधिक हरे पेड़ काटे गए हैं।