Edited By Kuldeep, Updated: 18 Dec, 2025 10:35 PM

नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने सरकार पर भाजपा नेताओं व कार्यकर्त्ताओं के खिलाफ राजनीतिक प्रतिशोध की भावना से मामले दर्ज करने के आरोप लगाए हैं।
शिमला (भूपिन्द्र): नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने सरकार पर भाजपा नेताओं व कार्यकर्त्ताओं के खिलाफ राजनीतिक प्रतिशोध की भावना से मामले दर्ज करने के आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि उनका साथ छोड़ चुके कांग्रेस और निर्दलीय विधायकों को हर हाल में सत्ता के दम पर प्रताड़ित करना चाहते हैं। वह जिस राह पर चल रहे हैं, न तो वह काम अच्छा है और न ही उसका अंजाम अच्छा होगा। सत्ता के दुरुपयोग से वह भारतीय जनता पार्टी के विधायकों को आज भले कुछ पल के लिए परेशान कर लें लेकिन सत्ता स्थायी नहीं है। यह बात उन्होंने वीरवार को शिमला में मीडिया से बातचीत में कही। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार, नेताओं व अधिकारियों ने जो बदले की भावना से काम शुरू किया है, उसका खमियाजा तो उन्हें भुगतना ही पड़ेगा। उन्होंने आरोप लगाया कि हमीरपुर के विधायक के खिलाफ खनन का मामला पुलिस पार्टी बनकर दर्ज करवाती है, जबकि माइनिंग विभाग इसकी कोई भी शिकायत तक नहीं करता। इस फेहरिस्त में हमीरपुर के विधायक आशीष शर्मा के अलावा सुधीर शर्मा, राजेंद्र राणा, चैतन्य शर्मा, देवेंद्र भुटटो, केएल ठाकुर व होशियार सिंह सहित कई नाम हैं।
उन्होंने कहा कि आशीष शर्मा व उनके परिवार पर 7 मामले दर्ज किए हैं। पिछले 10 दिन से उन्हें पुलिस थाने में बैठाया जा रहा है। इसी तरह राजेंद्र राणा व उनके बेटे व पत्नी भी जमानत पर हैं। इसी तरह विधायक सुधीर शर्मा के घर का आकलन करने में लोक निर्माण विभाग को लगाया गया है। चैतन्य शर्मा के पिता पर मामले दर्ज किए गए हैं। देवेंद्र भुट्टो व उनके बेटे पर 3 केस दर्ज किए गए हैं। इसी तरह भाजपा प्रदेशाध्यक्ष डा. राजीव बिंदल व विधायक सुखराम चौधरी के खिलाफ भी अटैंप्ट टू मर्डर के मामले दर्ज किए गए हैं। जयराम ने कहा कि सूचना एवं जनसंपर्क विभाग विपक्ष के खिलाफ दुष्प्रचार करने के काम में लगाया है, जो सही नहीं है।
न एफ.आई.आर. दर्ज हुई, न ही जांच
उन्होंने सवाल करते हुए कहा कि बंजार के विधायक सुरेंद्र शौरी ने सैंकड़ों पेड़ कटान का मामला उठाया था। इसके अलावा उन्होंने मलबा उठाने में 14 करोड़ की गड़बड़ी का मामला उठाया था। इसमें आश्वासन के बाद भी न एफ.आई.आर. दर्ज हुई और न ही कोई जांच। इसी तरह धर्मपुर में भी हजारों पेड़ों को काटने का मामला आया था। इसी तरह कालाअंब में 4 लाख से अधिक के स्टीकर व अवैध शराब का मामला आया था। इसमें भी जांच नहीं हुई। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि हम एक सीमा तक ही इंतजार करेंगे, क्योंकि अब प्रताड़ित करने का आंकड़ा 100 के करीब पहुंच रहा है। ऐसे में आने वाले समय में भाजपा सड़कों व चौराहों पर उतरेगी।
कार्निवाल के नाम पर वसूली तो खाता नम्बर क्यों नहीं किया जारी
जयराम ने कहा कि कांगड़ा कार्निवाल में वसूली के लिए सरकार द्वारा पत्र निकाला गया है। सरकारी कार्यक्रमों का खर्च प्रदेश के लोग क्यों उठाएं। इस तरह से पहले कभी नहीं हुआ है कि सरकार द्वारा पत्र जारी किया गया है। पत्र में अकाऊंट नंबर क्यों नहीं दिया गया है? क्या यह कैश वसूली का प्रयास है? अगर लोग दान ही दे रहे हैं तो कम से कम उन्हें आयकर की विभिन्न धाराओं के तहत आयकर में छूट तो मिल सके।
3 वर्ष के जश्न का मंच बना आपसी कलह का मंच
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि सरकार के 3 साल का जश्न आपसी कलह का मंच बनकर रह गया था। मुख्यमंत्री ने अंदर और बाहर के लोगों से लड़ने का ऐलान किया और सबको देख लेने की धमकी दी तो उप मुख्यमंत्री ने ऐसे काम नहीं चलने का हवाला दिया और सबको अंधेरे में निपटाने की हिदायत भी दे डाली। उन्हें पता होना चाहिए कि अधिकारी रात के अंधेरे में नहीं दिन के उजाले में मिलते हैं। आपदा में जिनके परिजनों और नातेदारों की लाश नहीं मिली उनके खिलाफ मामले दर्ज हुए। एक मंत्री ने वे मामले दर्ज करवाए। आज भी 52 लोग थाने में बैठाए गए हैं। एडिशनल लिस्ट बनाई जा रही है। उनकी शिनाख्त पुलिस नहीं कांग्रेस का एक नेता कर रहा है।