Edited By Vijay, Updated: 20 Sep, 2022 10:31 PM
सरकारी स्कूलों में शिक्षकों के पद न भरने के मामले में प्रदेश उच्च न्यायालय ने शिक्षा सचिव को नोटिस जारी किए हैं। मामले पर अगली सुनवाई 27 सितम्बर को निर्धारित की है। याचिका में दिए तथ्यों के अनुसार शिमला ग्रामीण की 3 पंचायतों के स्कूलों में शिक्षकों...
शिमला (मनोहर): सरकारी स्कूलों में शिक्षकों के पद न भरने के मामले में प्रदेश उच्च न्यायालय ने शिक्षा सचिव को नोटिस जारी किए हैं। मामले पर अगली सुनवाई 27 सितम्बर को निर्धारित की है। याचिका में दिए तथ्यों के अनुसार शिमला ग्रामीण की 3 पंचायतों के स्कूलों में शिक्षकों के 46 पद वर्षों से खाली पड़े हैं। यह मामला स्थानीय निवासी पुष्पेंद्र कुमार ने याचिका के माध्यम से अदालत के समक्ष लाया है। आरोप लगाया गया है कि पिछड़ा क्षेत्र होने के कारण इस क्षेत्र के विद्यार्थियों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने में राज्य सरकार विफल रही है। इन स्कूलों में शिक्षकों के कई पद खाली हैं। राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला बनूना में शिक्षकों के 16 पद, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला धरोगड़ा में 13, बाग में 10, राजकीय माध्यमिक पाठशाला हिमरी में 1, गढेरी में 3 और गडाहू में 3 पद खाली पड़े हैं। दलील दी गई कि शिक्षा का अधिकार मौलिक अधिकार की श्रेणी में आता है। गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान करने के लिए संविधान में दिए प्रावधानों के अनुसार केंद्र सरकार और राज्य सरकार दोनों ही फैसला ले सकती हैं।
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