Edited By Jyoti M, Updated: 15 Jan, 2025 04:19 PM
जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण की समीक्षा बैठक उपायुक्त अनुपम कश्यप की अध्यक्षता में हुई । उपायुक्त अनुपम कश्यप ने कहा कि जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण शिमला की वर्ष 2016 से आज तक की विस्तृत रिपोर्ट की समीक्षा की। उपायुक्त ने निर्देश दिए कि जिला आपदा...
हिमाचल डेस्क। जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण की समीक्षा बैठक उपायुक्त अनुपम कश्यप की अध्यक्षता में हुई । उपायुक्त अनुपम कश्यप ने कहा कि जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण शिमला की वर्ष 2016 से आज तक की विस्तृत रिपोर्ट की समीक्षा की। उपायुक्त ने निर्देश दिए कि जिला आपदा प्राधिकरण के वर्ष 2016 से आज तक की सभी आपदाओं की रिपोर्ट को अपडेट करने के निर्देश दिए। इसके लिए घटना के आधार पर अलग अलग कर्मचारी नियुक्त किए गए है। इसके साथ ही उक्त सभी कर्मचारियों को एक सप्ताह के भीतर इसे अपडेट करेंगे।
बैठक में प्राकृतिक आपदा में जिन लोगों का नुक्सान हुआ है। उसके लिए विभिन्न विभागों की ओर से क्या क्या कार्य किए गए। इस को लेकर विस्तृत चर्चा की गई । बैठक में यह भी सुनिश्चित किया गया कि जितनी भी दुर्घटनाएं हुई है। इसमें लोगों को सरकार द्वारा जो राहत मिलनी थी। वे असल मिली है या नहीं। इसके बारे में भी दोबारा समीक्षा की जाएगी । उन्होंने जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण को निर्देश दिए कि एक विस्तृत रिपोर्ट तैयार करें, जिसमें पहले के नुक्सान व अब उसकी क्या स्थिति है। ताकि हम उसकी अगली बैठक में समीक्षा कर सकें। उन्होने कहा कि जिले में कोई भी आपदा होती है, तो उसकी रिपोर्ट सम्बन्धित विभागों से तुरन्त लेकर इसे अपडेट करें ।ताकि पता चल सके कि कौन सी आपदा में कितना कार्य हुआ है और अभी कितनी राहत देने की आवश्यकता है ।
उपायुक्त अनुपम कश्यप ने कहा जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण ने जिले में वर्ष 2016 से वर्ष 2024 तक हुए प्राकृतिक आपदा के तहत हुए प्रमुख नुक्सान की जानकारी देते हुए कहा कि वर्ष 2017 में जिले के तीन मुख्य आपदाओें में 07 व्यक्तियों की मृत्यु व 18 भेड़ों की जान गई थी। वर्ष 2018 में चार प्राकृतिक आपदाओें मेे 47 मकान, 05 गौशालाओं को नुक्सान हुआ, व 161 भेड़ व 10 बकरियों की जान गई । वर्ष 2019 में चार घटनाओं में 06 लोगों की मृत्यु, 06 मकानों को क्षति, 20 भेड़ व बकरियों की जान गई । वर्ष 2020 में दो आपदाओं में 77 भेड़-बकरी जान गई व ठियोग के पंचायत घर व ड़ाक घर को आग से नुक्सान हुआ। वर्ष 2021 में तीन आपदाओं में 507 भेड़-बकरियों की जान व 02 व्यक्तियों की मृत्यु हुई।
वर्ष 2022 में एक मुख्य घटना में रोहडू में 488 भेड़ व बकरियां मर गए, वर्ष 2023 की 09 मुख्य आपदाओं में 38 लोगों की मृत्यु हुई व करोड़ो की सरकारी व निजी सम्पति को नुक्सान हुआ। वर्ष 2024 की 09 प्रमुख आपदाओं में 36 व्यक्तियों की बादल फटने से व 04 व्यक्तियों की अन्य दुर्घटना में मृत्यु हो गई, 49 मकान व 11 गौशालाएं को पूर्णतय नुक्सान हुआ । इस अवसर पर अतिरिक्त जिला दण्डाधिकारी ज्योति राणा, जिला राजस्व अधिकारी संजीव शर्मा, प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण समन्वयक जिला आपदा प्रबन्धन प्राधिकारण डॉ0 नेहा शर्मा व अन्य कर्मचारी उपस्थित रहे ।