Edited By Vijay, Updated: 13 Jan, 2021 09:56 PM
हिमाचल प्रदेश को अब चंडीगढ़ से मकर संक्रांति के दिन कोरोना वैक्सीन उपलब्ध होगी। पहले यह नॉर्थ इंडिया के रीजनल सैंटर करनाल से उपलब्ध होनी थी, लेकिन अब इसे चंडीगढ़ तक हवाई जहाज से पहुंचाए जाने के बाद कोल्ड चेन से प्रदेश में लाया जाएगा।
शिमला: हिमाचल प्रदेश को अब चंडीगढ़ से मकर संक्रांति के दिन कोरोना वैक्सीन उपलब्ध होगी। पहले यह नॉर्थ इंडिया के रीजनल सैंटर करनाल से उपलब्ध होनी थी, लेकिन अब इसे चंडीगढ़ तक हवाई जहाज से पहुंचाए जाने के बाद कोल्ड चेन से प्रदेश में लाया जाएगा। इसके लिए स्टेट लेवल का सैंटर शिमला तथा धर्मशाला व मंडी में रीजनल सैंटर बनाए गए हैं, साथ ही प्रदेश में कोरोना वैक्सीन के लिए 386 कोल्ड साइट बनाई गई हैं। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने पत्रकारों से अनौपचारिक बातचीत में यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि जनजातीय और बर्फबारी वाले क्षेत्रों में वैक्सीन हवाई जहाज से पहुंचाई जाएगी।
पहले चरण में 93 हजार वैक्सीन
प्रदेश को पहले चरण में 93 हजार वैक्सीन मिल रही हैं, जिसे स्वास्थ्य कर्मियों के अलावा फ्रंट लाइन वर्करों को उपलब्ध करवाया जा रहा है। इसके लिए पंजीकरण की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है। इसे प्रदेश के 46 स्थानों से उपलब्ध करवाया जाएगा। इसके अलावा दूसरे चरण में 50 साल से अधिक व अन्य विभिन्न बीमारियों से जूझ रहे लोगों को वैक्सीन दी जाएगी। उन्होंने कहा कि वैक्सीन लगाने को लेकर प्रदेश में ड्राई रन के माध्यम से तैयारियां पूर्ण कर ली गई हैं। वैक्सीन के लिए वाहनों एवं चालकों को तैयार रखा गया है। उन्होंने कहा कि हालांकि प्रदेश में कोरोना के मामलों में कमी आई है और अब रोजाना 100 से भी कम नए मामले आ रहे हैं जबकि पहले यह आंकड़ा 900 से पार कर गया था। इस तरह प्रदेश में अब कोरोना के 800 एक्टिव मामले रह गए हैं।
वैक्सीन लगाने वाले पर रखी जाएगी निगरानी
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिन लोगों को वैक्सीन लगेगी, उनके ऊपर पूरी निगरानी रखी जाएगी। उन्होंने कहा कि जिन्हें वैक्सीन लगेगी, उन्हें आधा घंटे तक अस्पताल व स्वास्थ्य केंद्र निगरानी में रखा जाएगा। इसके बाद चिकित्सकों की जांच के बाद उन्हें घर भेजा जाएगा। उन्होंने कहा कि वैक्सीन को केंद्र सरकार की तरफ से तय प्रोटोकॉल के तहत लगाया जाएगा।
वैक्सीन लगने के बाद 42 दिन रखना होगा ध्यान
कोरोना वैक्सीन (कोविडशील्ड) लगने के 42 दिन तक व्यक्ति को चिकित्सकों की कुछ हिदायतों का ध्यान रखना होगा। इसके तहत उसे भीड़ वाले इलाके में जाने से बचने के अलावा पहले की तरह निरंतर मास्क का प्रयोग करना होगा, ताकि फिर से उसे किसी प्रकार का संक्रमण न हो। ऐसा इसलिए करना होगा, क्योंकि 42 दिन के बाद ही शरीर में एंटीबॉडी बनना शुरू होंगे। उधर, राज्य में कोरोना वैक्सीन के भंडारण को लेकर बुधवार को विभागीय स्तर पर उच्च अधिकारियों की बैठक हुई।
बर्ड फ्लू से 4742 पक्षियों की मौत
मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में बर्ड फ्लू 4742 पक्षियों की मौत हुई है। प्रदेश के पौंग बांध क्षेत्र में प्रवासी पक्षियों की मौत हुई है, जिसके बाद स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से सावधानी बरती जा रही है। उन्होंने कहा कि राहत वाली बात यह है कि प्रदेश में पोल्ट्री फार्म में इस वायरस के कारण कोई मौत नहीं हुई है।