Edited By Kuldeep, Updated: 13 Dec, 2025 05:07 PM

केन्द्रीय रेलवे मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राज्यसभा सांसद इंदु बाला गोस्वामी को सदन में बताया कि हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा रेलवे परियोजनाओं को भूमि ट्रांसफर करने में देरी और रेलवे परियोजनाओं में राज्य सरकार की हिस्सेदारी न देने की वजह से हिमाचल...
धर्मशाला: केन्द्रीय रेलवे मंत्री अश्विनी वैष्णव ने राज्यसभा सांसद इंदु बाला गोस्वामी को सदन में बताया कि हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा रेलवे परियोजनाओं को भूमि ट्रांसफर करने में देरी और रेलवे परियोजनाओं में राज्य सरकार की हिस्सेदारी न देने की वजह से हिमाचल प्रदेश में रेलवे परियोजनाओं के कार्यान्वयन में देरी हो रही है। उन्होंने बताया कि भानुपल्ली-बिलासपुर-बैरी रेलवे लाइन के निर्माण के लिए हिमाचल प्रदेश में 124 हैक्टेयर भूमि की जरूरत है लेकिन राज्य सरकार ने रेलवे को अभी तक मात्र 82 हैक्टेयर भूमि ही ट्रांसफर की है तथा ट्रांसफर भूमि पर निर्माण कार्य किया जा रहा है। इस रेल परियोजना के निर्माण में हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा बिलासपुर से बैरी के बीच भूमि स्थानांतरित नहीं की गई है, जिसकी वजह से इस परियोजना का निर्माण कार्य प्रभावित हो रहा है।
उन्होंने बताया कि 63 किलोमीटर लम्बी भानुपल्ली-बिलासपुर-बैरी रेलवे लाइन के निर्माण कार्य की 25 प्रतिशत निर्माण लागत राज्य सरकार द्वारा वहन की जानी है जबकि इस परियोजना की बाकी 75 प्रतिशत निर्माण लागत केन्द्र सरकार द्वारा वहन की जा रही है। उन्होंने बताया कि इस परियोजना पर कुल 6753 करोड़ लागत स्वीकृत की गई है, जिसमें 1617 करोड़ भूमि अधिग्रहण की लागत भी शामिल है।
रेल मंत्री ने बताया कि अब तक इस परियोजना पर 5,252 करोड़ रुपए खर्च किए जा चुके हैं, जिसमें राज्य सरकार की देनदारी 2,711 करोड़ रुपए बनती है लेकिन राज्य सरकार ने अभी तक मात्र 847 करोड़ रुपए अदा किए हैं और 1,863 करोड़ की अदायगी शेष है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार द्वारा अपने हिस्से की अदायगी जमा न करने से इस परियोजना के निर्माण में देरी हो रही है। उन्होंने बताया कि केन्द्र सरकार इस परियोजना को पूरा करने के लिए बचनबद्ध है लेकिन इसकी सफलता राज्य सरकार के सहयोग पर निर्भर करती है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2009-14 के बीच हिमाचल प्रदेश में रेलवे के ढांचागत विकास के लिए 108 करोड़ रुपए प्रदान किए गए जबकि 2025-26 के लिए हिमाचल प्रदेश की रेल परियोजनाओं के लिए 2716 करोड़ रुपए का बजट प्रावधान किया गया है।
बिलासपुर-लेह रेल लाइन का सर्वे पूरा
रेल मंत्री ने बताया कि हिमाचल में रेल ढांचे के विकास के लिए 52 किलोमीटर लम्बे दौलतपुर चौक-तलवाड़ा रेलवे लाइन का काम शुरू किया गया है। 1540 करोड़ रुपए की लागत से 28 किलोमीटर लम्बी चंडीगढ़-बद्दी नई रेलवे लाइन का निर्माण कार्य शुरू किया गया है। उन्होंने बताया कि बिलासपुर-लेह रेलवे लाइन को रक्षा मंत्रालय ने सामरिक महत्व की परियोजना के रूप में चिह्नित किया है। उन्होंने बताया कि इस रेल लाइन का सर्वे पूरा कर लिया गया है और विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार कर ली गई है। उन्होंने बताया कि 1,31,000 करोड़ रुपए लागत की इस परियोजना के अन्तर्गत 489 किलोमीटर लम्बी रेलवे लाइन निर्मित होगी जिसमें 270 किलोमीटर लम्बी लाइन टनलों के बीच से गुजरेगी।