Edited By Vijay, Updated: 21 Dec, 2024 02:36 PM
हिमाचल प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने लैंड सीलिंग एक्ट 1973 में संशोधन के बारे में महत्वपूर्ण बयान दिया है।
धर्मशाला (तिलक): हिमाचल प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र के अंतिम दिन राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने लैंड सीलिंग एक्ट 1973 में संशोधन के बारे में महत्वपूर्ण बयान दिया है। उन्होंने बताया कि कानून के तहत एक व्यक्ति या संस्था को 150 बीघा से अधिक भूमि रखने की अनुमति नहीं है, लेकिन कुछ संस्थाओं और सरकार को इसमें छूट दी गई है। 2013 के संशोधन में धार्मिक कार्यों के लिए सीलिंग लिमिट से ज्यादा भूमि रखने का प्रावधान है। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार द्वारा लाए गए संशोधन में धार्मिक संस्थानों को 150 बीघा तक अतिरिक्त भूमि ट्रांसफर करने की अनुमति होगी, लेकिन यह भूमि केवल धार्मिक, आध्यात्मिक और दान कार्यों के लिए दी जाएगी।
पहले दिन से नकारात्मक भूमिका में रहा विपक्ष
राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि सदन में विपक्ष की भूमिका पहले दिन से ही नकारात्मक रही। 18 तारीख को विपक्ष ने नियम 67 के तहत एक प्रस्ताव लाने का प्रयास किया, जिसका उद्देश्य भ्रष्टाचार के मुद्दे पर बहस कर कार्रवाई रोकना और फिर जोरावर मैदान में रैली कर अपनी पार्टी का प्रचार करना था। नेगी ने कहा कि नियम 67 के तहत प्रस्ताव स्वीकार होने के बाद विपक्ष को बड़ा झटका लगा क्योंकि उनकी तैयारी अधूरी थी। आधे-अधूरे मन से प्रस्ताव लाकर पूरे दिन की कार्रवाई रोक दी गई। इसके बावजूद 28 में से केवल 14 सदस्य ही मौजूद थे और नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर तो बीच में ही नहीं थे। उन्होंने कहा कि विपक्ष का यह कदम प्रदेशहित के मुद्दों को दरकिनार कर सिर्फ नकारात्मक राजनीति को बढ़ावा देने वाला था।
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