Bilaspur: सावधान! अब नशा करने, बेचने वालों के परिवारों को पंचायत में नहीं मिलेंगी सुविधाएं

Edited By Jyoti M, Updated: 12 Feb, 2025 12:20 PM

families of drug addicts will not get facilities in panchayat

नशे के बढ़ते प्रकोप और उसके नकारात्मक प्रभावों को देखते हुए कई पंचायतें अब सक्रिय हो रही हैं और इस दिशा में ठोस कदम उठा रही हैं। भराड़ी उपतहसील की ग्राम पंचायत गतवाड़ ने हाल ही में एक बैठक आयोजित की, जिसमें नशे के सेवन को लेकर चर्चा की गई। बैठक में...

हिमाचल डेस्क। नशे के बढ़ते प्रकोप और उसके नकारात्मक प्रभावों को देखते हुए कई पंचायतें अब सक्रिय हो रही हैं और इस दिशा में ठोस कदम उठा रही हैं। भराड़ी उपतहसील की ग्राम पंचायत गतवाड़ ने हाल ही में एक बैठक आयोजित की, जिसमें नशे के सेवन को लेकर चर्चा की गई। बैठक में यह निर्णय लिया गया कि अगर कोई युवा चिट्टा सहित अन्य नशे के सेवन या कारोबार में संलिप्त पाया जाएगा, तो उसके परिवार को पंचायत की सुविधाओं से वंचित कर दिया जाएगा। यह कदम पंचायत की ओर से उठाया गया है ताकि नशे के खिलाफ समाज में जागरुकता फैल सके और युवा पीढ़ी को इस खतरे से बचाया जा सके।

ग्राम पंचायत ने यह निर्णय लिया है कि नशे के बढ़ते प्रकोप और उसके दुष्प्रभावों से युवाओं को बचाने के लिए एक जागरुकता अभियान चलाया जाएगा। इस अभियान का उद्देश्य नशे के सेवन के बारे में लोगों को शिक्षित करना और उन्हें इसके दुष्प्रभावों से अवगत कराना है। पंचायत के प्रधान नवल बजाज और उपप्रधान अजय शर्मा ने इस अभियान की रूपरेखा प्रस्तुत की। उनके अनुसार, यह अभियान युवाओं के बीच नशे के दुष्प्रभावों को लेकर एक नई सोच पैदा करेगा और युवाओं को इसके खतरों से सचेत करेगा। पंचायत की यह पहल अन्य पंचायतों के लिए भी एक प्रेरणा बन सकती है, क्योंकि इससे नशे के खिलाफ सामूहिक प्रयासों में बढ़ोतरी होने की उम्मीद है।

प्रधान नवल बजाज ने इस अवसर पर कहा, "नशा युवाओं को बर्बादी की ओर ले जा रहा है। माता-पिता अपने बच्चों को बेहतर शिक्षा और जीवन स्तर देने का हरसंभव प्रयास कर रहे हैं, लेकिन जब युवा नशे की लत में फंस जाते हैं, तो यह समाज के लिए चिंता का विषय बन जाता है।" उन्होंने यह भी कहा कि इस समस्या से निपटने के लिए सबसे पहले अभिभावकों को सतर्क होना पड़ेगा। यदि अभिभावक समय रहते अपने बच्चों पर नजर रखेंगे और उन्हें नशे से बचाने के लिए कदम उठाएंगे, तो निश्चित रूप से इस समस्या का समाधान संभव है।

अजय शर्मा ने बताया कि पंचायत ने नशे से जुड़ी समस्याओं के खिलाफ सख्त निर्णय लिया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यदि कोई युवक या युवती नशे के सेवन या कारोबार में शामिल पाया जाता है, तो उसके परिवार को पंचायत की सुविधाओं से वंचित किया जाएगा। 

नशा छोड़ने वालों को मुफ्त काउंसलिंग और दवा देंगे : डॉ. ऋतिक

अखिल भारतीय चिकित्सक एसोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष और युवा समाजसेवी डॉ. ऋतिक शर्मा ने चिट्टे का सेवन करने वालों के लिए मुफ्त इलाज और काउंसलिंग की घोषणा की है। डॉ. शर्मा ने बताया कि यह पहल बिलासपुर से शुरू होगी और धीरे-धीरे प्रदेशभर में इसका विस्तार किया जाएगा। पंचकूला स्थित उनके मुख्य क्लीनिक के साथ भराड़ी के पास मंझोटी गांव से भी इस सेवा का संचालन किया जाएगा। उनका उद्देश्य युवाओं को नशे की लत से दूर कर समाज को स्वस्थ और मजबूत बनाना है।

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