Edited By Vijay, Updated: 06 Aug, 2025 08:04 PM

पंजाब बॉर्डर मैहतपुर से सब डिवीजन अम्ब तक का करीब 44 किलोमीटर नैशनल हाईवे अब पूरी तरह से हाईटेक तकनीक से निर्मित होगा। इसके लिए एनएच द्वारा तय की गई कंसल्टैंसी मैकटैक्नोक्रेट ने उच्च मापदंडों के आधार पर रिपोर्ट तैयार कर राष्ट्रीय राजमार्ग एवं परिवहन...
ऊना (सुरेन्द्र) : पंजाब बॉर्डर मैहतपुर से सब डिवीजन अम्ब तक का करीब 44 किलोमीटर नैशनल हाईवे अब पूरी तरह से हाईटेक तकनीक से निर्मित होगा। इसके लिए एनएच द्वारा तय की गई कंसल्टैंसी मैकटैक्नोक्रेट ने उच्च मापदंडों के आधार पर रिपोर्ट तैयार कर राष्ट्रीय राजमार्ग एवं परिवहन मंत्रालय को सौंप दी है, जिस पर अब दिल्ली स्थित मंत्रालय में उच्च स्तरीय बैठक होगी और इस प्रस्ताव पर मोहर लगाने बारे विचार किया जाएगा। नैशनल हाईवे-503 के तहत कस्बा झलेड़ा से अम्ब के आगे कलरूही तक माॅर्डन तकनीक के आधार पर नैशनल हाईवे बनेगा, जिसमें कोई भी अवरोधक नहीं होगा। झलेड़ा से अम्ब तक की दूरी 32 किलोमीटर है, लेकिन अब मौजूदा प्रस्ताव के मुताबिक करीब 33 किलोमीटर का हाईवे बनेगा, जो हिमाचल प्रदेश में पूरी तरह से पहला बाधा रहित हाईवे होगा। इसमें छोटे बाजारों और आबादियों में कोई भी दिक्कत नहीं होगी।
नैशनल हाईवे द्वारा तय की गई कंसल्टैंसी ने अपनी रिपोर्ट में और फोरलेन के मौजूदा नियमों के तहत करीब 33 किलोमीटर तक के कलरूही-झलेड़ा फोरलेन हाईवे की चौड़ाई 45 किलोमीटर होगी। ऊना जिले का पहला नैशनल हाईवे होगा, जिसकी 45 मीटर चौड़ाई होगी। इस समय यानी मौजूदा समय में झलेड़ा से अम्ब तक सड़क 20 मीटर चौड़ी है। इसमें अब 25 मीटर दोनों तरफ को मिलाकर और जमीन का अधिग्रहण होगा। मौजूदा प्रस्ताव के मुताबिक झलेड़ा से अम्ब तक न तो कोई तो यू टर्न कट होगा और न ही कहीं ट्रैफिक को डायवर्ट करने के लिए हाईवे के बीच कोई कट बनाए जाएंगे, जिस जगह पर बाजार होंगे, वहां फ्लाइओवर बनेंगे और हाईवे के दोनों तरफ लोकल ट्रैफिक के लिए स्लिप रोड बनेंगे। मौजूदा समय में अम्ब से झलेड़ा चौक तक टू-लेन हाईवे है और इस पर ट्रैफिक का दबाव काफी अधिक है। आंकड़ों के अनुसार यहां सर्वाधिक सड़क दुर्घटनाएं होती हैं। इसी को लेकर अब यह फोरलेन हाईवे ऐसा बनेगा जिस पर आसपास की गाड़ियां बाधा नहीं बनेंगी और न ही कोई जंगली या बेसहारा पशु गाड़ियों की आवाजाही में रुकावट डाल पाएंगे। सबसे बड़ी बात तो यह है कि कंसल्टैंसी की रिपोर्ट में कई भीड़ वाले क्षेत्रों में अलग हटकर हाईवे बनाया जाएगा और उसके लिए पूरी 45 मीटर जमीन को अधिगृहीत किया जाएगा।
इसके बाद झलेड़ा से मैहतपुर के फोरलेन हाईवे पर भी ट्रैफिक दबाव को कम करने, सड़क की तकनीकी खामियों को दूर करने और कुछेक स्थानों पर फ्लाईओवर जैसे प्रावधान करने का भी प्रस्ताव है, लेकिन इसके लिए कंसल्टैंसी तय होना बाकी है। उधर, घालूवाल-झलेड़ा पुल से बाया रैंसरी, डंगेहड़ा-डंगोली बाईपास के लिए भी कदमताल जारी है। इस पर भी कंसल्टैंसी अपनी रिपोर्ट तैयार करेगी, जिसके बाद इस पर संबंधित मंत्रालय अपनी मंजूरी देगा।
मैहतपुर से अम्ब के फोरलेन हाईवे को कलरूही के निकट तक बढ़ाया जाएगा। गगरेट से जाने वाले हाईवे को इसके साथ जोड़ा जाएगा, ताकि जालंधर से नादौन-हमीरपुर हाईवे को भी इसके साथ लिंक कर दिया जाएगा। बड़ी बात यह है कि झलेड़ा से अम्ब का जो हाईवे होगा उसमें उच्च तकनीक का इस्तेमाल होगा और आने वाले समय में यह हाईवे ऊना जिला की तस्वीर को बदल देगा।
एनएच के एसडीओ राजेश शर्मा ने माना कि झलेड़ा से अम्ब नैशनल हाईवे के लिए संबंधित कंसल्टैंसी ने अपनी रिपोर्ट मंत्रालय को सौंप दी है। फोरलेन हाईवे को जो मौजूदा मापदंड तय किए गए हैं, उन्हीं के अनुसार यह हाईवे बनेगा। इसे होशियारपुर से आने वाले हाईवे के साथ जोड़ा जाएगा और अम्ब से करीब एक किलोमीटर नया जंक्शन बनेगा। यह हाईवे एक बेहतर तकनीक पर आधारित होगा।