प्रदेश के प्राइमरी स्कूलों में जे.बी.टी. अध्यापकों के 3000 पद खाली

Edited By Kuldeep, Updated: 26 Dec, 2022 07:56 PM

jahu primary school teacher vacancy

देश में शिक्षा के क्षेत्र में झंडे गाड़ चुका हिमाचल प्रदेश इस समय शिक्षकों के खाली पदों के कारण खूब चर्चाएं बटोर रहा है। हैरानी की बात है कि शिक्षा के क्षेत्र में सरकार इतनी लापरवाही से काम क्यों ले रही है, जिसका बुरा असर विद्यार्थियों की पढ़ाई पर...

जाहू (शमशेर सिंह): देश में शिक्षा के क्षेत्र में झंडे गाड़ चुका हिमाचल प्रदेश इस समय शिक्षकों के खाली पदों के कारण खूब चर्चाएं बटोर रहा है। हैरानी की बात है कि शिक्षा के क्षेत्र में सरकार इतनी लापरवाही से काम क्यों ले रही है, जिसका बुरा असर विद्यार्थियों की पढ़ाई पर पड़ रहा है। एक तरफ पहले ही कोरोना काल के चलते बच्चों की पढ़ाई बाधित रही तो दूसरी तरफ स्कूल में बिना अध्यापकों के पढ़ाई कैसे होगी, इस बारे किसी की जवाबदेही सामने नहीं आ रही हैं। हालांकि सरकार ने कई बार जे.बी.टी. अध्यापकों के पदों को भरने की हिम्मत जुटाई, लेकिन कभी कोर्ट ऑफ कंडक्ट तो कभी कोर्ट के चक्कर में यह भर्ती लटकती रही है। इस समय प्रदेश में कई ऐसी पाठशालाएं भी हैं, जहां किसी पाठशाला में सिंगल टीचर है तो कहीं अध्यापक ही नहीं है। कहीं एक या दो अध्यापक हैं तो उन्हें एक साथ 7 कक्षाएं देखनी पड़ती हैं। दूसरी तरफ पहली से 5वीं कक्षा के साथ नर्सरी और के.जी. की कक्षाएं भी सम्मिलित हो चुकी हैं। 

प्रदेश शिक्षा निदेशालय से मिली जानकारी के अनुसार प्रदेश में इस समय करीब 3000 पद जे.बी.टी. अध्यापकों के रिक्त चले हुए हैं। हमीरपुर जिले में इस समय 480 प्राथमिक पाठशालाएं हैं, जिनमें 185 पद रिक्त चले हुए हैं। इसी तरह कांगड़ा में 900 पद रिक्त चले हैं। ऐसे में अब प्रदेश का आंकड़ा 3000 तक पहुंच गया है। दूसरा चौंकाने वाला विषय यह भी है कि एक तरफ स्कूलों में अध्यापकों की कमी चली हुई है तो दूसरी तरफ सबसे पहले स्कूल के अध्यापकों को चुनावों में ड्यूटी पर लगाया जाता है। इससे न केवल बच्चों की पढ़ाई बाधित होती है, बल्कि उनके भविष्य के साथ भी सरासर खिलवाड़ है। 

प्रसिद्ध शिक्षाविद् शक्ति चंद डोगरा का कहना है कि स्कूलों में बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो, इसके लिए दूसरे विभागों से स्टाफ को चुनावों में ड्यूटी पर लगाना चाहिए। कोरोना काल ने पहले ही बच्चों की पढ़ाई को बाधित किया है। ऐसे में यह किसी भी सूरत में न्यायसंगत नहीं है।  

शिक्षा उपनिदेशक एलीमैंटरी राकेश कुलभूषण का कहना है कि इस समय जिला हमीरपुर में 480 पाठशालाएं हैं, जिसमें 185 शिक्षकों के पद खाली चले हुए हैं। उन्होंने कहा कि रिक्त पदों की सूची निदेशालय को भेज दी गई है।

उधर, प्रदेश शिक्षा निदेशालय के संयुक्त निदेशक डा. भुवन शर्मा ने कहा कि इस समय प्रदेश में 3000 पद प्राइमरी शिक्षकों के खाली चले हुए हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश का डाटा इक_ा करने के बाद कुछ पद बैचवाइज तथा कुछ कमीशन के माध्यम से शीघ्र ही भरे जा रहे हैं। 

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