Edited By Kuldeep, Updated: 06 May, 2025 10:59 PM

हिमाचल प्रदेश में सार्वजनिक एवं निजी परिवहन और टैक्सियों में गारबेज बिन रखना अनिवार्य किया है, जिसमें सभी प्रकार के पर्यटक वाहन, सार्वजनिक एवं निजी परिवहन और टैक्सियां शामिल हैं।
शिमला (राजेश): हिमाचल प्रदेश में सार्वजनिक एवं निजी परिवहन और टैक्सियों में गारबेज बिन रखना अनिवार्य किया है, जिसमें सभी प्रकार के पर्यटक वाहन, सार्वजनिक एवं निजी परिवहन और टैक्सियां शामिल हैं। यह जानकारी मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने सचिवालय में आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में प्लास्टिक कचरा प्रबंधन एवं पर्यावरण संरक्षण के लिए राज्य सरकार ने यह कदम उठाया है।
उन्होंने कहा कि राज्य में पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 की धारा 5 और हिमाचल प्रदेश जीव अनाशित कूड़ा-कचरा (नियंत्रण) अधिनियम-1995 की धारा-3-क की उपधारा (1) के तहत लोक जल निकास और मलव्ययन में कूड़ा-कचरा फैंकने को प्रतिबंधित किया है। इसी अधिनियम के तहत प्रदेश में सभी प्रकार के सार्वजनिक एवं निजी परिवहन व टैक्सी सेवाओं में गारबेज बिन रखना अनिवार्य किया गया है।
1500 रुपए तक जुर्माने का प्रावधान
मुख्य सचिव ने कहा कि इस संबंध में सार्वजनिक व निजी परिवहन सेवाओं, टैक्सियों एवं पर्यटक वाहनों में अनाशित व आशित कूड़ा-कचरा, प्लास्टिक से बनी वस्तुओं में भोजन या अन्य खाद्य पदार्थों के परोसने पर 1500 रुपए तक का जुर्माना किया जाएगा। साथ ही लोक परिवहन वाहनों में कूड़ा-कचरा पात्र (गारबेज बिन) स्थापित न करने पर 10 हजार रुपए का जुर्माना किए जाने का प्रावधान है। मुख्य सचिव ने बस अड्डा प्रभारियों और सार्वजनिक पार्किंग मालिकों को कूड़ा-कचरा संग्रहण करने की अनुपालना सुनिश्चित करने के भी निर्देश दिए।