विधानसभा के बाहर मल्टी टास्क वर्करों का पॉलिसी को लेकर प्रदर्शन

Edited By Kuldeep, Updated: 26 Feb, 2024 06:29 PM

shimla assembly multi task worker demonstration

विधानसभा सत्र के 10वें दिन अपने मांगों को लेकर शिक्षा विभाग में कार्यरत पार्ट टाइम मल्टी टास्क वर्करों ने यहां पहुंचकर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया।

शिमला (संतोष): विधानसभा सत्र के 10वें दिन अपने मांगों को लेकर शिक्षा विभाग में कार्यरत पार्ट टाइम मल्टी टास्क वर्करों ने यहां पहुंचकर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया। मल्टी टास्क वर्करों के लिए पॉलिसी बनाने की इनकी प्रमुख मांग है। मल्टी टास्क वर्करों का कहना है कि शिक्षा विभाग में 2021-22 में करीब 8,000 मल्टी टास्क वर्करों की भर्ती हुई है और अधिकांश मल्टी टास्क वर्कर विधवा, विकलांग, बी.पी.एल. और अति निर्धन वर्ग से नियुक्त हुए हैं। शुरू में इन्हें पार्ट टाइम नियुक्त किया गया था, लेकिन अब दैनिक भोगी के बराबर कार्य कर रहे हैं। उनका कहना है कि उनका कार्य सुबह 9 से सायं 4.30 बजे तक रहता है। वेतन केवल 10 महीने का दिया जाता है, लेकिन काम पूरे 12 महीने करवाया जाता है। उन्हें पूरा वेतन नहीं मिल रहा है और वेतन में से कुछ प्रतिशत काटा भी जा रहा है।

शिक्षा विभाग पार्ट टाइम मल्टी टास्क वर्कर्ज यूनियन के अध्यक्ष सुखदेव सिंह व उपाध्यक्ष रविंद्र ठाकुर ने कहा कि उन्हें 12 माह का पूर्ण वेतन दिया जाए और मासिक वेतन में भी वृद्धि की जाए, क्योंकि वर्तमान में उन्हें 5,625 रुपए मासिक वेतन दिया जाता है। महंगाई के इस दौर में इस वेतन से उनका गुजारा नहीं हो पा रहा है। उन्हें 2 वर्ष के अंतराल के बाद दैनिक भोगी बनाया जाए तथा नियमित किया जाए। शिक्षा विभाग में जो मल्टी टास्क वर्कर लगे हैं, वे दिव्यांग, एकल नारी, विधवा, बी.पी.एल. व आई.आर.डी.पी., बेरोजगार हैं और कुछ लोग वे भी हैं जिन्होंने स्कूल के लिए भूमि दान की है। उनकी सभी सरकारी लाभकारी सुविधाएं तथा पैंशन बंद कर दी है। इसलिए सरकार से आग्रह है कि जब तक वे नियमित नहीं होते हैं, तब तक उन्हें सभी सुविधाएं जारी रखी जाएं। उन्हें एस.एम.सी. से हटाकर शिक्षा विभाग के अधीन लिया जाए तथा वर्ष में 10 मैडीकल लीव की सुविधा प्रदान की जाए। उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग की बेहतरी और कर्मचारियों की उन्नति के लिए सरकार हमेशा तत्पर रहती है। इसलिए उन्हें भी उम्मीद है कि उनके लिए मुख्यमंत्री स्थायी नीति बनाएंगे, ताकि उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार हो सके।

भूख हड़ताल पर बैठे जे.ओ.ए. (आई.टी.) का जारी है हस्ताक्षर अभियान
अपनी मांगों को लेकर पहले क्रमिक अनशन और बाद में अनिश्चितकालीन हड़ताल पर विधानसभा के समीप चौड़ा मैदान में रेन शैल्टर में बैठे जे.ओ.ए. (आई.टी.) अभ्यर्थियों का आंदोलन जारी है। अब इन्होंने हस्ताक्षर अभियान आरंभ कर दिया है। इनमें से कइयों की तबीयत भी बिगड़ने लगी है, जबकि लो.नि.वि. मंत्री विक्रमादित्य सिंह व नेता प्रतिपक्ष से लेकर विधायक सुधीर शर्मा व राजेंद्र राणा तथा माकपा नेता भी मिल चुके हैं। ये अभ्यर्थी जे.ओ.ए. (आई.टी.) पोस्ट कोड-817 सहित अन्य भर्ती के परीक्षा का परिणाम जल्द निकालने की मांग को लेकर अपना आंदोलन चलाए हुए हैं और जल्द परिणाम घोषित करने की मांग उठा रहे हैं। विधानसभा सत्र के पहले दिन इन्होंने घेराव करने का भी प्रयास किया था। अभ्यर्थियों का कहना है कि ठंड के इस मौसम में भी वे यहां अनिश्चितकालीन हड़ताल पर बैठे हैं, लेकिन सरकार उनकी इस मांग को पूरा नहीं कर रही है। अभ्यर्थियों के अभिभावकों का कहना है कि उनके बच्चों से सरकार बात तक नहीं कर रही है। अभ्यर्थियों ने दो टूक कहा कि जब तक सरकार उनकी मांग को नहीं मानती, उनका आंदोलन जारी रहेगा।

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