Edited By Ekta, Updated: 03 Aug, 2018 11:18 AM
जोनल अस्पताल मंडी में 4 बजे के बाद अस्पताल के डॉक्टरों, स्टाफ नर्सों और पैरामैडीकल कर्मचारियों ने गेट मीटिंग कर 30 जुलाई को एक तीमारदार द्वारा नर्स को थप्पड़ मारने की घटना पर रोष व्यक्त किया। इस मौके पर अस्पताल प्रांगण में सैकड़ों चिकित्सकों और...
मंडी: जोनल अस्पताल मंडी में 4 बजे के बाद अस्पताल के डॉक्टरों, स्टाफ नर्सों और पैरामैडीकल कर्मचारियों ने गेट मीटिंग कर 30 जुलाई को एक तीमारदार द्वारा नर्स को थप्पड़ मारने की घटना पर रोष व्यक्त किया। इस मौके पर अस्पताल प्रांगण में सैंकड़ों चिकित्सकों और अस्पताल के कर्मचारियों ने दोषियों के खिलाफ नारेबाजी की तथा जिला प्रशासन से तुरंत सख्त कार्रवाई अमल में लाने की मांग की। कर्मचारियों को संबोधित करते हुए प्रदेश अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ के महामंत्री एवं जिला मंडी के अध्यक्ष एन.आर. ठाकुर ने कहा कि हंगामा खड़ा करना हमारा मकसद नहीं, हमारी कोशिश है कि भविष्य में ऐसा नहीं होना चाहिए। उन्होंने प्रशासन को एक सप्ताह का अल्टीमेटम देते हुए कहा कि यदि मामले को नहीं सुलझाया तो आंदोलन तेज किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि आज डर के माहौल में अस्पताल में डॉक्टरों और नर्सों को काम करना मुश्किल हो रहा है और आए दिन कोई न कोई तीमारदार गाली-गलौच करके, डरा-धमका कर या पिटाई करके चला जाता है। ऐसे मामले अस्पताल के कर्मचारी समय-समय पर अस्पताल और जिला प्रशासन से उठाते आए हैं लेकिन हर बार आश्वासनों के सिवाय कोई सार्थक पहल ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए नहीं हो रही है। एन.आर. ठाकुर ने कहा कि डॉक्टर और नर्सें यथाशक्ति अपनी सेवा रोगियों को मुहैया करवा रहे हैं लेकिन फिर भी कुछ लोगों की अपेक्षा उनसे अधिक रहती है जिसके चलते ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति हो रही है।
स्वास्थ्य विभाग कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष अमरजीत शर्मा ने कहा कि प्रशासन अस्पताल के कर्मचारियों और डॉक्टरों को सुरक्षा मुहैया करवाए और ऐसे शरारती तत्वों से जिला प्रशासन सख्ती से निपटे ताकि कर्मचारी भयमुक्त वातावरण में काम कर सकें। उन्होंने अस्पताल के समस्त डॉक्टरों और कर्मचारियों से इकट्ठे होकर ऐसी घटनाओं के खिलाफ खड़ा होने की अपील की ताकि भविष्य में किसी ऐसी घटना को अंजाम न दिया जा सके। इस अवसर पर स्टाफ नर्सिज एसोसिएशन की तरफ से वार्ड सिस्टर ब्यासा शर्मा ने भी अपने विचार रखे।