बागी विधायकों ने भरोसा तोड़ा, पार्टी में वापसी का कोई तुक ही नहीं : विप्लव ठाकुर

Edited By Vijay, Updated: 09 Mar, 2024 12:16 AM

state congress disciplinary committee chairperson viplove thakur

पूर्व राज्यसभा सांसद व प्रदेश कांग्रेस अनुशासन समिति की अध्यक्ष विप्लव ठाकुर ने कहा कि बगावत करने वाले विधायकों ने पार्टी का भरोसा तोड़ा है। उनकी राय में अब बागी विधायकों को मनाने या पार्टी में वापस लेने का कोई तुक ही नहीं बनता है।

धर्मशाला (सौरभ): पूर्व राज्यसभा सांसद व प्रदेश कांग्रेस अनुशासन समिति की अध्यक्ष विप्लव ठाकुर ने कहा कि बगावत करने वाले विधायकों ने पार्टी का भरोसा तोड़ा है। उनकी राय में अब बागी विधायकों को मनाने या पार्टी में वापस लेने का कोई तुक ही नहीं बनता है। उन्होंने कहा कि प्रदेश प्रभारी राजीव शुक्ला से चर्चा के बाद जल्द ही अनुशासन समिति की बैठक बुलाई जाएगी। वह इस प्रकरण पर अलग से कमेटी गठित करेगी, जिसकी रिपोर्ट हाईकमान को भेजी जाएगी।

राणा और सुधीर का पहले से था भाजपा से तालमेल 
पंजाब केसरी से विशेष बातचीत में विप्लव ठाकुर ने दावा किया कि बागी विधायकों की अगुवाई कर रहे राजेंद्र राणा और सुधीर शर्मा का पहले से ही भाजपा के साथ तालमेल था। दोनों विधायकों ने अपने स्वार्थ व पद की महत्वाकांक्षा के चलते पार्टी से धोखा किया व  प्रलोभनों के चलते अन्य विधायक भी उनके झांसे में आ गए। कांग्रेस नेत्री ने कहा कि दोनों वरिष्ठ विधायकों के पार्टी विरोधी बयानों पर उन्होंने काफी समय पहले प्रभारी राजीव शुक्ला से बात की थी लेकिन शुक्ला ने लोकसभा चुनाव को देखते हुए अनुशासनहीनता पर कार्रवाई को लेकर इंतजार करने की बात कही थी। बागी विधायकों को पार्टी से निष्कासित करने के सवाल पर उन्होंने कहा कि राणा व सुधीर अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य हैं, जिनको बाहर करने का निर्णय हाईकमान ही लेगा। अन्य बागी विधायकों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का मसला पार्टी प्रभारी के समक्ष उठाया जाएगा। 

सरकार व पार्टी के स्तर पर हुआ फेलियर 
बगावत का पता लगाने में हुई चूक पर विप्लव ठाकुर ने कहा कि इस प्रकरण में सरकार व पार्टी दोनों के स्तर पर फेलियर हुआ। मुख्यमंत्री अति आत्मविश्वास में रहे व खुफिया तंत्र नाकाम रहा। उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदेशाध्यक्ष प्रतिभा सिंह की निष्क्रियता से भी पार्टी को नुक्सान हुआ। प्रदेश अध्यक्ष शिमला व मंडी से कभी बाहर नहीं निकलीं व संगठन की ओर से सरकार को सही फीडबैक नहीं मिला। 

विधायकों की दिक्कतें सुननी होंगी, बढ़ाना होगा तालमेल
कांग्रेस नेत्री ने कहा कि उनकी राय में इस प्रकरण से सबक लेते हुए सरकार व संगठन में आपसी तालमेल बढ़ाने की जरूरत है। मुख्यमंत्री को विधायकों की उनके चुनाव क्षेत्र में विकास कार्यों व जनसमस्याओं को लेकर बात सुननी होगी। साथ ही तत्परता से कदम उठाने होंगे।
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