अब निजी स्कूलों में भी होगा हैल्थ चैकअप

Edited By kirti, Updated: 11 Oct, 2018 03:42 PM

private schools will also have health checkups

डी.सी. ऊना राकेश कुमार प्रजापति ने कहा कि जिला में अब राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत निजी स्कूलों में पढ़ रहे 18 वर्ष तक की आयु वाले बच्चों का भी हैल्थ चैकअप किया जाएगा। यह कार्यक्रम सरकारी स्कूलों के साथ-साथ आंगनबाड़ी केंद्रों में...

ऊना : डी.सी. ऊना राकेश कुमार प्रजापति ने कहा कि जिला में अब राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत निजी स्कूलों में पढ़ रहे 18 वर्ष तक की आयु वाले बच्चों का भी हैल्थ चैकअप किया जाएगा। यह कार्यक्रम सरकारी स्कूलों के साथ-साथ आंगनबाड़ी केंद्रों में पहले से ही चल रहा है तथा नियमित तौर पर स्कूलों में जाकर बच्चों का हैल्थ चैकअप किया जा रहा है। डी.सी. आज बचत भवन ऊना में स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ऊना द्वारा स्कूलों के प्रधानाचार्यों एवं निजी स्कूलों के नोडल अध्यापकों के लिए आयोजित एकदिवसीय जिला स्तरीय कार्यशाला की अध्यक्षता करते हुए बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत अब सरकारी के साथ-साथ निजी स्कूलों में पढ़ रहे बच्चों की मोबाइल हैल्थ टीम द्वारा स्वास्थ्य जांच की जाएगी तथा जो बच्चे गंभीर बीमारी से पीड़ित पाए जाएंगे, उनका इलाज मुफ्त किया जाएगा।

इसके अतिरिक्त मधुमेह से पीड़ित बच्चों को मुफ्त इंसुलिन देने का भी प्रावधान है। डी.सी. ने कहा कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम पूरे देश में वर्ष 2013-14 से, जबकि हिमाचल प्रदेश में वर्ष 2015-16 से चल रहा है। उन्होंने कहा कि स्कूलों व आंगनबाड़ी केंद्रों में मोबाइल हैल्थ टीम द्वारा बच्चों में 30 प्रकार के स्वास्थ्य कारकों की जांच की जाती है तथा किसी प्रकार के स्वास्थ्य संबंधी विकार या कमी पाए जाने पर जांच के लिए उच्च स्वास्थ्य संस्थानों में भेजा जाता है, जबकि गंभीर बीमारी की स्थिति में बड़े अस्पतालों को मामला भेजा जाता है तथा इलाज पूरी तरह से मुफ्त किया जाता है। इसके अलावा बच्चों को निजी स्वच्छता, हाथ धोने और किशोरावस्था संबंधी परामर्श इत्यादि के बारे भी जागरूक किया जाता है। सी.एम.ओ. डा. रमण शर्मा ने डी.सी. व अन्य प्रतिभागियों का स्वागत करते हुए बताया कि जिला में गत 3 वर्षों से बच्चों का स्कूलों में जाकर लगातार हैल्थ चैकअप किया जा रहा है।

उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के अंतर्गत गठित टीम में एक पुरुष व एक महिला चिकित्सक, एक महिला स्वास्थ्य कार्यकत्र्ता तथा एक फार्मासिस्ट शामिल है। जिला में ऐसी कुल 11 टीमें गठित की गई हैं, जो लगातार स्कूलों व आंगनबाड़ी केंद्रों में जाकर बच्चों की स्वास्थ्य जांच कर रही हंै। कार्यशाला में जिला कार्यक्रम अधिकारी आर.एस.बी.वाई. डा. संजय मनकोटिया ने कार्यक्रम की विस्तृत जानकारी रखी। इस अवसर पर जिला स्वास्थ्य अधिकारी डा. प्रवीण चौधरी, बी.एम.ओ. डा. संजीव वर्मा, डा. नारायण आंगरा, डा. बलराम धीमान, स्वास्थ्य शिक्षक गोपाल कृष्ण और जन शिक्षा एवं सूचना अधिकारी कांता ठाकुर सहित विभिन्न स्कूलों के प्रधानाचार्य व अध्यापक  मौजूद थे।
 

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