Edited By Vijay, Updated: 20 Apr, 2018 11:22 PM
राज्य सरकार ने जिन अधिकारियों व कर्मचारियों को ऑनलाइन सर्विस उपलब्ध करवाने का जिम्मा सौंपा है, उनमें से अधिकतर को कम्प्यूटर की बेसिक जानकारी ही नहीं है।
शिमला: राज्य सरकार ने जिन अधिकारियों व कर्मचारियों को ऑनलाइन सर्विस उपलब्ध करवाने का जिम्मा सौंपा है, उनमें से अधिकतर को कम्प्यूटर की बेसिक जानकारी ही नहीं है। सूत्रों के अनुसार हाल ही में प्रशासनिक सुधार विभाग ने डिजिटल लिटरेसी मैपिंग का टैस्ट लिया। इसमें 90 प्रतिशत अधिकारी व कर्मचारी पास नहीं हो पाए। विभाग ने ऑनलाइन सर्विस को बेहतर तरीके से लागू करने के लिए यह टैस्ट लिया था। प्रशासनिक सुधार विभाग ने पब्लिक सर्विस गारंटी एक्ट-2011 के तहत 26 विभागों की 72 सेवाएं ऑनलाइन शुरू की हैं। इसके तहत जिन डैजिग्नेट अधिकारियों व कर्मचारियों को ऑनलाइन सर्विस उपलब्ध करवाने की जिम्मेदारी सौंपी गई, उन्हें ही कम्प्यूटर की बेसिक जानकारी नहीं है।
फिर से ट्रेनिंग लेंगे 13 हजार डैजिग्नेट अधिकारी व कर्मचारी
सूत्रों के अनुसार ऐसे में प्रशासनिक सुधार विभाग ने 13 हजार डैजिग्नेट अधिकारी व कर्मचारियों को फिर से हिप्पा में ग्रुप वाइज ट्रेनिंग देने का निर्णय लिया है। उल्लेखनीय है कि वर्तमान में हिमाचल में 26 विभागों को पब्लिक सर्विस गारंटी एक्ट के दायरे में लाया गया है और 187 सेवाएं इनमें शुरू हो चुकी है। इनमें से 72 सर्विस ऑनलाइन शुरू कर दी गई हैं। इसका मुख्य उद्देश्य प्रदेश की जनता को घर बैठे कोई भी सेवाएं टाइम बाऊंड पर उपलब्ध करवाना है। इसके साथ-साथ दूरदराज क्षेत्रों के लोगों को किसी भी सर्विस के लिए शहरों का चक्कर काटना न पड़े।
ई-डिस्ट्रिक्ट की 19 सेवाएं भी होंगी ऑनलाइन
प्रशासनिक सुधार विभाग ई-डिस्ट्रिक्ट की 19 सेवाओं को भी ऑनलाइन शुरू करने जा रहा है। इसके तहत हिमाचली प्रमाण पत्र, जन्म एवं मृत्यु प्रमाण पत्र, आय प्रमाण पत्र, एस.सी., एस.टी., ओ.बी.सी. प्रमाण पत्र सहित अन्य सेवाएं ऑनलाइन मिलेंगी।