Edited By Vijay, Updated: 12 Jun, 2019 05:07 PM
नगर परिषद ऊना के कई वार्डों में दर्जनों भवन जर्जर हो चुके हैं। इन भवनों की हालत ऐसी है कि ये कभी भी ताश के पत्तों की तरह ढेर हो सकते हैं। भूकंप के हल्का सा झटका, तेज तूफान या मूसलाधार बारिश के कारण ये भवन कभी भी गिर सकते हैं, जिससे हर समय हादसों का...
ऊना (अमित): नगर परिषद ऊना के कई वार्डों में दर्जनों भवन जर्जर हो चुके हैं। इन भवनों की हालत ऐसी है कि ये कभी भी ताश के पत्तों की तरह ढेर हो सकते हैं। भूकंप के हल्का सा झटका, तेज तूफान या मूसलाधार बारिश के कारण ये भवन कभी भी गिर सकते हैं, जिससे हर समय हादसों का अंदेशा बना हुआ है। इसी के कारण ऊना शहर के बाशिंदे खौफ के साये में जीने को मजबूर हैं।
खंडहर हो चुके भवनों की छतों पर पेड़-पौधे उग आए हैं और दीवारें गिरने की कगार पर हैं। 80-100 वर्षों से ज्यादा पुराने भवन किसी भी समय बड़े हादसे का कारण बन सकते हैं लेकिन प्रशासन और नगर परिषद इन जर्जर भवनों को लेकर अभी तक संजीदा नहीं दिख रहे हैं।
कई वर्षों से खाली चल रहे इन भवनों की सूरत अब भूत बंगलों की तरह हो गई है। लंबे समय से इन भवनों में कोई नहीं रह रहा है। ऊना शहर के वार्ड नंबर 2, 5, 6, 8 और 11 में सबसे ज्यादा असुरक्षित भवन हैं जो रिहायशी भवनों के लिए भी खतरा हैं।
स्थानीय लोगों ने प्रशासन और नगर परिषद से इन भवनों को गिराने की गुहार लगाई है ताकि वे अपने आप को सुरक्षित महसूस कर सकें। वहीं एस.डी.एम. ऊना ने इस मामले को नगर परिषद के साथ उठाकर भवन मालिकों को नोटिस जारी करने का दावा किया है।