अलगाववादी ताकतों व पाकिस्तान के खिलाफ गरजे पूर्व सैनिक

Edited By Updated: 28 Apr, 2017 11:12 PM

ex servicemen against separatist forces and pakistan

जम्मू-कश्मीर में भारतीय सैनिकों के साथ अलगाववादी ताकतों द्वारा किए जा रहे दुव्र्यव्हार, पत्थरबाजी व लात-घूंसों जैसे कृत्यों को लेकर पूर्व सैनिक भड़क उठे हैं।

बिलासपुर: जम्मू-कश्मीर में भारतीय सैनिकों के साथ अलगाववादी ताकतों द्वारा किए जा रहे दुव्र्यव्हार, पत्थरबाजी व लात-घूंसों जैसे कृत्यों को लेकर पूर्व सैनिक भड़क उठे हैं। पूर्व सैनिकों ने अपने निर्धारित कार्यक्रम के तहत शहीद सिपाही नंत राम वैल्फेयर मेला एवं दंगल कमेटी के बैनर तले धरना-प्रदर्शन करते हुए अलगाववादियों और पाकिस्तान के खिलाफ नारेबाजी की तथा अपनी मांगों का ज्ञापन राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री तथा सेना प्रमुख को प्रेषित किया। इससे पहले पूर्व सैनिक शहीद स्मारक बिलासपुर में एकत्रित हुए तथा वहां से डी.सी. कार्यालय तक शांतिपूर्ण तरीके से रैली निकाली।

कश्मीर में सैनिकों के साथ हो रहे बर्ताव पर लगाई जाए रोक
ज्ञापन में पूर्व सैनिकों ने कहा कि कश्मीर में सैनिकों के साथ हो रहे इस तरह के बर्ताव पर रोक लगाने के लिए कठोर कदम उठाए जाएं। वैल्फेयर कमेटी के अध्यक्ष कैप्टन बालक राम शर्मा ने उपस्थित पूर्व सैनिकों को संबोधित करते हुए कहा कि भारतीय सैनिक ऐसे अराजक तत्वों को मुंहतोड़ जवाब देने में पूरी तरह से सक्षम हैं लेकिन इसकी अनुमति न मिलने के  कारण उन्हें यह सब चुपचाप सहन करना पड़ रहा है। इसी के चलते आए दिन भारतीय रणबांकुरे शहीद भी हो रहे हैं। 

देश के दुश्मनों से आत्मरक्षा की अनुमति दे सरकार 
उन्होंने कहा कि जिन सैनिकों की वजह से पूरा देश चैन की नींद सो पाता है, उन्हें देश के दुश्मनों से आत्मरक्षा के लिए कदम उठाने की अनुमति क्यों नहीं दी जा रही है। उन्होंने कहा कि कश्मीर में पाकिस्तान समर्थित आतंकियों की घुसपैठ तथा उनके नापाक इरादों को रोकने के लिए भारतीय सेना के जवान दिन-रात मुस्तैदी से मोर्चा संभाले हुए हैं। उनका उद्देश्य कश्मीर में अमन-चैन की बहाली करना तथा देश को दुश्मनों से बचाना है। अत: सरकार को देश के दुश्मनों से आत्मरक्षा के लिए सैनिकों को अनुमति देनी चाहिए। 

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