Edited By prashant sharma, Updated: 19 Mar, 2021 11:08 AM
बरसात के मौसम में पौंग बांध से व्यास नदी में पानी तो कहर मचाता ही था पर अब बिन बरसात व्यास दरिया में भारी मात्रा में छोड़े गए पानी ने ग्राम पंचायत भोगरवां और ग्राम पंचायत रियाली के अधीन पड़ते मंड एरिया में पानी ने अपना कहर मचा दिया है।
बडूखर (सुनीत) : बरसात के मौसम में पौंग बांध से व्यास नदी में पानी तो कहर मचाता ही था पर अब बिन बरसात व्यास दरिया में भारी मात्रा में छोड़े गए पानी ने ग्राम पंचायत भोगरवां और ग्राम पंचायत रियाली के अधीन पड़ते मंड एरिया में पानी ने अपना कहर मचा दिया है। व्यास नदी में छोड़े गए पानी ने दोनों पंचायतों के लगभग 15 घरों को पानी ने अपनी चपेट में ले लिया है और घरों के इर्द गिर्द पानी ही पानी है। पानी की चपेट में आए लोगों ने अपना दुखड़ा सुनाते हुए कहा कि इस बार बारिश न होने के चलते पहले ही गेहूं की फसल ठीक नहीं थी और अगर थोड़ी फसल थी भी तो इस पानी ने उसको अपनी चपेट में लेकर पूरी तरह से बर्बाद कर दिया है। 2 दिन से लगातार छोड़े जा रहे पानी ने सब अस्त-व्यस्त कर दिया है और जो लोग घरों से बाहर है उनका इस पानी को पार करके अपने घरों में जाना अति मुश्किल हो गया है। इस पानी ने सैकड़ों एकड़ पक कर तैयार होने जा रही फसल को अपनी चपेट में ले लिया है।
पानी होने के चलते घरों में बीमार पड़े परिवार के सदस्यों को दवाई इत्यादि लेने जाने के लिए यह पानी बड़ी परेशानी बन गया है। उन्होंने प्रशासन के प्रति रोष जाहिर करते हुए कहा कि पहले जब भी कभी डैम से व्यास नदी में पानी छोड़ा जाता था तो प्रशासन इसकी सूचना उन्हें 1-2 दिन पहले दे देता था और हम कुछ हद तक अपना बचाव कर सुरक्षित स्थानों पर चले जाते थे और अब तो यह पानी बिना बताए और बरसात के मौसम में छोड़े जाने वाले पानी की मात्रा से भी कई गुणा अधिक पानी छोड़ दिया है। मंड निवासी बहादपुर ने कहा कि कल उसकी लड़की की शादी है और घर और रास्तों में पानी होने के चलते वो बारात को बैठाने आदि का प्रबंध कैसे ओर कहां करेगा। ग्रामीणों ने कहा कि एक साल से लगातार कोरोना महामारी से पहले ही हम कर्ज में बोझ तले दब चुके हैं और अब इस पानी से बर्बाद हुई इनकी लाखों रुपए की कनक की फसल ने उनकी आर्थिक स्थिति को ओर कमजोर कर दिया है।
दोनों पंचायतों के पीड़ित परिवारों ने बताया कि उन्होंने इस पानी से हुए नुकसान और फौरी राहत की मदद लेने हेतु अपनी अपनी पंचायतो के प्रधानों को भी सूचित किया था पर 2 दिन हो जाने पर आज तक कोई भी प्रशाशनिक अधिकारी उनकी सुध लेने नहीं आया है। ग्रामीणों ने प्रशासन के खिलाफ रोष जाहिर करते हुए कहा कि शायद प्रशासन उनको पूरी तरह पानी के बहाव में बह जाने का तमाशा देख रहा है। वहीं इस बारे में जब भोगरवां पंचायत के उपप्रधान जयदीप राणा और रियाली पंचायत के उपप्रधान मक्खनदीन ने कहा कि उन्होंने मौका देखकर इसकी सूचना स्थानीय प्रशासन को दे दी है। प्रशासन ने भी मौका देखकर पीड़ित परिवारों को हर संभव सहायता देने की बात कही है।