रेल मंत्री के निर्देश पर पठानकोट-जोगिंद्रनगर ट्रैक पर दौड़ी स्पैशल ट्रेन

Edited By Vijay, Updated: 04 Dec, 2018 05:10 PM

train run on pathankot jogindranagar track on the railway minister s instruction

रेल मंत्री पीयूष गोयल के निर्देश के ठीक एक दिन बाद रेलवे डिवीजन फिरोजपुर ने पठानकोट से जोगिंद्रनगर रेल मार्ग पर रेलगाड़ियों की स्पीड बढ़ाने की संभावना को टटोलने के लिए सोमवार को पठानकोट से सुबह सवा 11 बजे बैजनाथ-पपरोला स्टेशन तक विशेष गाड़ी चलाकर...

पपरोला (गौरव): रेल मंत्री पीयूष गोयल के निर्देश के ठीक एक दिन बाद रेलवे डिवीजन फिरोजपुर ने पठानकोट से जोगिंद्रनगर रेल मार्ग पर रेलगाड़ियों की स्पीड बढ़ाने की संभावना को टटोलने के लिए सोमवार को पठानकोट से सुबह सवा 11 बजे बैजनाथ-पपरोला स्टेशन तक विशेष गाड़ी चलाकर ट्रायल किया। ट्रायल में रेलगाड़ी की पठानकोट से नूरपुर स्टेशन तक 40 किलोमीटर प्रतिघंटा और नूरपुर से बैजनाथ तक 35 किलोमीटर प्रति घंटा स्पीड करने के लिए तकनीकी पहलुओं को परखा गया। इस विशेष रेलगाड़ी में पठानकोट से ए.डी.एम.ई. सहित लोकोमोटिव, कैरिज एंड वैगन के अधिकारी मौजूद रहे।
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ट्रेने की स्पीड बढ़ाने के लिए गया विशेष ट्रायल

कांगड़ा घाटी के रेल मार्ग के ट्रैफिक इंस्पैक्टर कर्ण पठानिया ने बताया कि रेल मंत्री के निर्देश पर फिरोजपुर डिवीजन के आला अधिकारियों द्वारा रेल मार्ग पर स्पीड बढ़ाने की योजना को धरातल पर उतारने के लिए यह विशेष ट्रायल किया गया। उन्होंने कहा कि हालांकि रेल की स्पीड बढ़ाने के लिए अभी समय लगेगा, लेकिन इसके लिए प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। उधर, ट्रायल के दौरान आए ए.डी.एम.ई. कुलभूषण सिंह ने बताया कि सोमवार सुबह सवा 11 बजे से पठानकोट से बैजनाथ-पपरोला तक स्पीड रेल को चलाने के लिए ट्रायल किया गया है।

5 स्टेशनों में रुकी ट्रेन

यह ट्रेन 5 स्टेशनों ज्वालामुखी रोड, कांगड़ा मंदिर, नगरोटा, पालमपुर व बैजनाथ में रुकी है, जिसके लिए पठानकोट से बैजनाथ-पपरोला पहुंचने के लिए ट्रेन को लगभग साढ़े 5 घंटे का समय लगा है। उन्होंने बताया कि ट्रायल की रिपोर्ट डी.आर.एम. फिरोजपुर को भेजी जाएगी, जिसके बाद आज वे रेल मंत्री पीयूष गोयल के साथ वार्ता कर इस टै्रक पर हुए ट्रायल की विस्तृत जानकारी देंगे। इस दौरान उनके साथ ट्रैफिक इंस्पैक्टर हीरा लाल, ए.ई.एन. कटोच व लोको इंस्पैक्टर नाजीर हुसैन आदि मौजूद रहे।

पुराने इंजन व ट्रैक की सही मुरम्मत न होने से रेल देरी से पहुंची

ट्रायल रेल को चलाने वाले लोको पायलट धर्म सिंह व अखिल खुशवाहा ने बताया कि पुराने इंजन व टै्रक की सही मुरम्मत न होने के कारण रेल ट्रायल के दिन लगभग 30 से 40 मिनट देरी से बैजनाथ-पपरोला पहुंची। उन्होंने बताया कि रेल मार्ग पर अगर सही ढंग से रोड़ी-पत्थर पड़े हों और इंजन नए हों तो ट्रेन की स्पीड अपने आप ही सही रफ्तार पकड़ लेती है, लेकिन वर्तमान में रेल टै्रक पर दौडऩे वाले इंजन काफी पुराने हो चुके हैं।

2019 से 2021 तक ट्रैक पर दौड़ेंगे 12 नए रेल इंजन

रेलवे अधिकारियों ने बताया कि वर्ष 2019 से पठानकोट-जोङ्क्षगद्रनगर रेल टै्रक पर नए इंजन दौडऩे शुरू हो जाएंगे। उन्होंने बताया कि रेलवे विभाग की ओर से परेल वर्कशॉप मुंबई में 12 नए रेल इंजनों का ऑर्डर दिया गया है, जिनमें से 9 इंजन वर्कशॉप द्वारा 2 वर्षों के भीतर देने को कहा गया है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में इस रेल ट्रैक पर 14 पुराने इंजन दौड़ रहे हैं, जिनमें से अधिकतर की आयु पूरी होने को है और कइयों की 35 वर्ष तक हो गई है।

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