Edited By kirti, Updated: 09 Sep, 2018 10:39 AM
प्रदेश का सर्वप्रथम विकसित अंतर्राज्यीय बस अड्डे पालमपुर को आज देखकर लगता ही नहीं कि इसके साथ अंतर्राज्यीय शब्द ठीक लगता है। सुविधाओं के नाम पर ऐसा कुछ नहीं है यहां। समस्याएं कुछ समय से नहीं बल्कि काफी पुरानी हैं। आलम यह है कि बस अड्डे का प्लास्टर...
पालमपुर : प्रदेश का सर्वप्रथम विकसित अंतर्राज्यीय बस अड्डे पालमपुर को आज देखकर लगता ही नहीं कि इसके साथ अंतर्राज्यीय शब्द ठीक लगता है। सुविधाओं के नाम पर ऐसा कुछ नहीं है यहां। समस्याएं कुछ समय से नहीं बल्कि काफी पुरानी हैं। आलम यह है कि बस अड्डे का प्लास्टर गिर रहा है और आने-जाने वाले मुसाफिरों को रोजाना जहां खतरों से गुजरना पड़ रहा है। बबता दें कि पालमपुर का 21 अक्तूबर वर्ष 1991 में निर्मित अंतर्राज्यीय बस अड्डा आगामी माह में अपने 27 साल पूर्ण कर लेगा।
प्रदेश में यह अड्डा एक समय था कि सबसे बेहतरीन अड्डों की श्रेणी में शुमार था। जिसका उद्घाटन तत्कालीन मुख्यमंत्री एवं वर्तमान चम्बा-कांगड़ा सांसद शांता कुमार ने किया था। लेकिन निगम अधिकारियों की समय-समय पर अड्डे की उचित रख-रखाव में ढील देने के चलते अड्डे व इसके भवन की हालत दयनीय अवस्था की ओर अग्रसर हो रही है।