MC ने घुड़सवारी पर लगाया 10 प्रतिशत टैक्स, घोड़ा मालिकों ने Mayor को सौंपा ज्ञापन

Edited By Vijay, Updated: 04 Feb, 2020 08:39 PM

mc imposed 10 percent tax on horse riding

राजधानी शिमला के रिज मैदान में घुड़सवारी पर नगर निगम द्वारा 10 प्रतिशत टैक्स लगाने के फैसले पर अब घोड़ा मालिक विरोध में उतर आए हैं। घोड़ा मालिकों ने नगर निगम के कर्मी द्वारा पर्ची कटाने के फैसले और 10 फीसदी टैक्स देने से इंकार कर दिया है।

शिमला (तिलक राज): राजधानी शिमला के रिज मैदान में घुड़सवारी पर नगर निगम द्वारा 10 प्रतिशत टैक्स लगाने के फैसले पर अब घोड़ा मालिक विरोध में उतर आए हैं। घोड़ा मालिकों ने नगर निगम के कर्मी द्वारा पर्ची कटाने के फैसले और 10 फीसदी टैक्स देने से इंकार कर दिया है। मंगलवार को घोड़ा संचालन एसोसिएशन ने सीटू के बैनर तले नगर निगम की महापौर सत्या कौंडल को ज्ञापन सौंपा और 10 फीसदी कर न लगाने और घुड़सवारी के पैसे बढ़ाने की मांग की।

घोडा मालिकों का कहना है कि नगर निगम ने पहले टैक्स लेने की बात कही थी लेकिन बाद में नगर निगम के कर्मी द्वारा पर्ची देने की बात की जा रही है। इससे घोडा मालिकों को नुक्सान होगा। यदि नगर निगम का कर्मी मौजूद नहीं होगा तो उन्हें अपने घोड़े खड़े करने पड़ेंगे। घोड़ा संचालन एसोसिएशन के अध्यक्ष अब्दुल का कहना है कि नगर निगम अपना टैक्स लगाए, घोड़ा मालिक टैक्स देने को तैयार हैं लेकिन नगर निगम 10 फीसदी टैक्स लगा रहा है और अपने कर्मी द्वारा पर्ची देने की बात कही जा रही है। यदि बिना पर्ची के घुड़सवारी करवाते हैं तो उन पर 5 हजार जुर्माना लगाया जाएगा, जिसके चलते वे निगम के इस फैसले का विरोध कर रहे हैं।

वहीं सीटू जिला महासचिव बाबू राम ने कहा कि एक तरफ सरकार स्वरोजगार देने की बात कर रही है वहीं जो लोग स्वरोजगार करते हैं उन्हें परेशान किया जा रहा है। घोड़ा संचालक लंबे समय से यहां घुड़सवारी करवा रहे हैं और पर्यटकों के लिए भी ये आकर्षण का केंद्र है लेकिन नगर निगम इन घोड़ा संचालकों पर भारी भरकम टैक्स लगा रहा है जोकि सही नहीं है।

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