Edited By Simpy Khanna, Updated: 12 Nov, 2019 10:37 AM
हिमाचल में वाहनों के वी.आई.पी. नंबर व पसंदीदा नंबर लगाने का शौक रखने वालों के लिए जरूरी खबर है। परिवहन विभाग ने प्रदेश में पसंदीदा नंबर लेने वाले लोगों की समस्या का समाधान कर डाला है। पसंदीदा नंबर लेने के लिए लोगों को विभाग को अतिरिक्त पैसा चुकाना...
शिमला (ब्यूरो): हिमाचल में वाहनों के वी.आई.पी. नंबर व पसंदीदा नंबर लगाने का शौक रखने वालों के लिए जरूरी खबर है। परिवहन विभाग ने प्रदेश में पसंदीदा नंबर लेने वाले लोगों की समस्या का समाधान कर डाला है। पसंदीदा नंबर लेने के लिए लोगों को विभाग को अतिरिक्त पैसा चुकाना होगा। यही नहीं ई-नीलामी के बाद ही वाहन मालिकों को पसंदीदा नंबर मिलेगा। परिवहन विभाग ने लोगों की पसंदीदा नंबर लेने की समस्या का समाधान करते हुए मोटर-वाहन नियमों में संशोधन किया है। संशोधित नियम एक सप्ताह बाद लागू होंगे।
इसके लिए सरकार ने अधिसूचना भी जारी कर दी है। नियमों में संशोधन के बाद व्यक्ति न सिर्फ वाहन के लिए पसंदीदा नंबर ले सकेगा, बल्कि वाहन की बिक्री अथवा इसकी उम्र पूरी होने के बाद भी वह पुराना नंबर अपने पास रख सकेगा। इसके लिए भी अतिरिक्त शुल्क चुकाने के साथ-साथ कुछ और औपचारिकताओं को पूरा करना होगा। विभाग को भी नंबरों की नीलामी से अच्छी-खासी आमदन होने की उम्मीद है। अधिसूचना के तहत पसंदीदा नंबर लेने के लिए वाहन पंजीकरण प्राधिकरण विशेष शुल्क लेगा।
सरकारी वाहनों के लिए 0001 नंबर आरक्षित, अन्य की होगी नीलामी
अधिसूचना के तहत विभाग ने 0001 नंबर सरकारी वाहनों के लिए आरक्षित किया है। इस नंबर के लिए नीलामी नहीं होगी, जबकि विभाग को नंबर की रजिस्ट्रेशन करवानी जरूरी होगी। इस नंबर की न्यूनतम फीस सरकार ने 1 लाख रुपए निर्धारित की है। इसके अतिरिक्त 0002 से लेकर 0010 तक के नंबरों की बोली यानी ऑक्शन 75 हजार रुपए होगी। अर्थात पसंदीदा नंबर लेने के लिए 75 हजार की रकम तो खर्च करनी ही होगी, लेकिन यदि कोई व्यक्ति इससे अधिक बोली बोलता है तो नंबर उसे आबंटित होगा। तीसरी सीरीज में पसंदीदा नंबर की न्यूनतम बोली 50 हजार तथा इसके बाद के नंबरों के लिए 5 हजार रुपए होगी। विभागीय अधिसूचना में बाकायदा नंबरों की सीरीज व इनकी न्यूनतम बोली का भी उल्लेख किया गया है।