Edited By kirti, Updated: 18 Nov, 2019 04:26 PM
हिमाचल प्रदेश में एचआरटीसी बस व प्राइवेट बस की सुविधाएं न मिलने पर कफोटा बाजार में छात्रों ने प्रशासन और नेताओं के खिलाफ नारेबाजी की। बता दें कि आईटीआई छात्रों का कहना है कि बस सुविधा न होने से उन्हें रोजाना 13 किलोमीटर की दूरी तय करके कॉलेज पहुंचना...
शिलाई (रवि तोमर): हिमाचल प्रदेश में एचआरटीसी बस व प्राइवेट बस की सुविधाएं न मिलने पर कफोटा बाजार में छात्रों ने प्रशासन और नेताओं के खिलाफ नारेबाजी की। बता दें कि आईटीआई छात्रों का कहना है कि बस सुविधा न होने से उन्हें रोजाना 13 किलोमीटर की दूरी तय करके कॉलेज पहुंचना पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि कई बार उन्होंने प्रशासन को लिखित रूप में शिकायत भी दी। लेकिन समस्या का कोई समाधान नहीं हुआ। इतना ही नहीं उन्होंने बताया कि दौरे में आए सीएम जयराम ठाकुर को भी इस समस्या से अवगत करवाया गया था पर कोई कार्रवाई अमल में लाई गई। उन्होंने कहा कि नेताओं के झूठे आश्वासन मिलने के बाद उनका सब्र का बांध टूट चुका है। यही-नहीं दौरे में आए सीएम जयराम ठाकुर को भी इस समस्या से अवगत करवाया गया था अभी तक कोई कार्रवाई अमल में लाई गई कई बार नेताओं के झूठे आश्वासन मिलने के बाद आप कॉलेज छात्रों का सब्र का बांध टूट चुका था और बाजार में प्रशासन के खिलाफ व दोनों दलों के नेताओं के साथ नारेबाजी की लगभग चार से पांच पंचायतों के कॉलेज में पहुंचते हैं बस की सुविधा ना मिलने पर छात्रों को परेशान होना पड़ रहा है।
कॉलेज छात्रों का कहना है कि हमने कई बार प्रशासन को कई बार पत्र लिखकर भी भेज दिए है लेकिन कोई कार्रवाई अमल में नहीं लाई गई। उन्होंने कहा कि यहां के जो दोनों दलों के नेता है वह बस वोट बैंक की राजनीति कर रहे हैं इसके सिवाय कुछ भी नहीं कर रहे हैं। इलेक्शन के दौरान वोट मांगने आ जाते हैं और विकास के मामले पर कुछ नहीं कर रहे हैं हमने 4 महीने पहले स्थानीय नेताओं व प्रशासन को पत्र भी भेजा था कि हमारी इन पंचायतों में एक सरकारी बस चलाई जाए ताकि हम समय से कॉलेजों व स्कूलों वह आईटीआई के लिए समय से पहुंच सके हमारी इन पंचायतों में लगभग 70 से 80 विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण करने के लिए कोटा पहुंचते है पर बस ना मिलने के कारण हमें रोज पैदल चलना पड़ता है। कॉलेज छात्राओं ने तो यह भी कहा कि रोज लेट हो जाने के बावजूद 2 क्लास नहीं लगा पा रहे हैं इससे उनकी पढ़ाई पर भी असर होना शुरू हो गया है पर यहां के नेता व प्रशासन सब गहरी नींद में सोए हुए हैं। छात्रों की भविष्य की कोई चिंता नहीं है।