Edited By Vijay, Updated: 28 Feb, 2019 11:13 PM
हिमाचल सरकार नई आबकारी नीति पर शुक्रवार को मंजूरी प्रदान कर सकती है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में दोपहर बाद होने वाली मंत्रिमंडल की बैठक में इस पर स्वीकृति की मोहर लग सकती है। मंत्रिमंडल की मंजूरी के बाद प्रदेश में आगामी वित्त वर्ष यानी...
शिमला: हिमाचल सरकार नई आबकारी नीति पर शुक्रवार को मंजूरी प्रदान कर सकती है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में दोपहर बाद होने वाली मंत्रिमंडल की बैठक में इस पर स्वीकृति की मोहर लग सकती है। मंत्रिमंडल की मंजूरी के बाद प्रदेश में आगामी वित्त वर्ष यानी पहली अप्रैल से यह नीति लागू हो जाएगी। वित्त वर्ष, 2019-20 में आबकारी शुल्क से 1625.37 करोड़ रुपए की आय अर्जित करने का लक्ष्य रखा गया है। इस तरह आगामी वित्त वर्ष में नई नीति से करीब 200 करोड़ रुपए की अतिरिक्त आय हो सकती है। इससे प्रदेश में बिकने वाली शराब महंगी हो सकती है। आबकारी नीति के तहत देसी और अंग्रेजी शराब का कोटा भी तय किया जाएगा और ठेकों की नीलामी प्रक्रिया व इनकी संख्या तय करने संबंधी निर्णय भी लिया जाएगा।
नौकरियों का पिटारा भी खुल सकता है पिटारा
बैठक में एक बार फिर नौकरियों का पिटारा भी खुल सकता है तथा आॢथक रूप से कमजोर सवर्ण लोगों को 10 फीसदी आरक्षण देने जैसे मसले पर भी चर्चा हो सकती है। सरकार आगामी वित्त वर्ष में की गई बजट घोषणाओं को धरातल पर उतारने की भी अनुमति दे सकती है।
31 मार्च तक प्रभावी है आबकारी नीति
उल्लेखनीय है कि आबकारी नीति 31 मार्च तक प्रभावी है। प्रदेश के राजस्व का एक बड़ा हिस्सा आबकारी विभाग से आता है। मौजूदा वित्त वर्ष में शराब के कारोबार पर लगने वाले आबकारी शुल्क से 1425.76 करोड़ रुपए की आय अर्जित करने का लक्ष्य रखा है। हालांकि मौजूदा वित्त वर्ष की समाप्ति पर यह पता चल सकेगा कि आबकारी शुल्क से कितना मुनाफा हुआ है।