Edited By Ekta, Updated: 13 Nov, 2019 09:54 AM
राजधानी में ऑनलाइन ठगी के शिकार हो रहे लोगों को देखकर अब पुलिस भी सतर्क हो गई है। लोगों को ठगी से बचने को लेकर पुलिस ने एडवाइजरी जारी की है। पुलिस का कहना है कि कुछ लोगों को अभी तक पता ही नहीं है कि ऑनलाइन ठगी के शिकार भी होते हैं। ऐसे में लोगों को...
शिमला (जस्टा): राजधानी में ऑनलाइन ठगी के शिकार हो रहे लोगों को देखकर अब पुलिस भी सतर्क हो गई है। लोगों को ठगी से बचने को लेकर पुलिस ने एडवाइजरी जारी की है। पुलिस का कहना है कि कुछ लोगों को अभी तक पता ही नहीं है कि ऑनलाइन ठगी के शिकार भी होते हैं। ऐसे में लोगों को लालच में फंसाकर शातिर ठगी के शिकार बना रहे हैं। पुलिस का कहना है कि ओ.टी.पी. और ए.टी.एम. पिन किसी के साथ सांझा न करें। व्हाट्सएप और अन्य सोशल मीडिया एप्लीकेशन के माध्यम से अपने परिवार के सदस्यों के साथ अपने डैबिट व क्रैडिट कार्ड का विवरण सांझा न करें। अपने मोबाइल, लैपटॉप, पी.सी. व टैब आदि में अपने डैबिट व क्रैडिट कार्ड का विवरण, पिन आदि न रखें। जब आप कुरियर के माध्यम से डैबिट कार्ड व पिन प्राप्त करते हैं तो अपने डैबिट कार्ड के साथ गुप्त पिन न रखें।
बैंक आपके खाते से आधार को जोड़ने के लिए कभी भी फोन कॉल नहीं करते हैं। बैंक कभी भी ए.टी.एम. कार्ड की रुकावट के संबंध में कॉल नहीं करते हैं। अपने बचत खातों में भारी राशि न रखें। यदि कोई टोल फ्री नंबर सेवा बताकर संपर्क करता है तो उसका जवाब न दें। इसके बजाय आप टोल फ्री नंबर से संपर्क कर सकते हैं। संदिग्ध शॉपिंग साइट से ऑनलाइन खरीददारी न करें। भुगतान उद्देश्यों के लिए अपने डैबिट व क्रैडिट कार्ड को अजनबियों को न सौंपें। भीड़ वाले ए.टी.एम. से पैसे न निकालें। सोशल नैटवर्किंग साइट्स और एप्स के आधार पर लोगों पर भरोसा न करें। पुलिस का कहना है कि ऑनलाइन ठगी से बचने के लिए अखबार पड़े या फिर पुलिस की वैबसाइट में जाकर समय-समय पर जानकारी लें।