स्वास्थ्य विभाग के डाटा से उड़ा रहे हैं गर्भवती महिलाओं के खाते से राशि

Edited By kirti, Updated: 04 Mar, 2020 06:21 PM

health department data are blowing funds from pregnant women account

स्वास्थ्य विभाग के डाटा के सहारे फर्जी चिकित्सक बनकर जननी सुरक्षा योजना के माध्यम से गर्भवती महिलाओं एवं प्रसूताओं को दी जाने वाली सरकारी राशि पर डाका डालने का मामला ऊना में सामने आया है। जननी सुरक्षा योजना के तहत मिलने वाली राशि की जानकारी के सहारे...

ऊना,  (विशाल/ अमित) : स्वास्थ्य विभाग के डाटा के सहारे फर्जी चिकित्सक बनकर जननी सुरक्षा योजना के माध्यम से गर्भवती महिलाओं एवं प्रसूताओं को दी जाने वाली सरकारी राशि पर डाका डालने का मामला ऊना में सामने आया है। जननी सुरक्षा योजना के तहत मिलने वाली राशि की जानकारी के सहारे ठग गिरोह ठगी करते हुए गर्भवती महिलाओं के बैंक खातों से रुपए उड़ाने में जुट गया है। पिछले 2 सप्ताह से यह क्रम चल रहा है और इस काम के लिए ठगों ने आशा वर्कज का सहारा लिया है।

गंभीर मसले में विभाग का उदासीन रवैया

बेहद ही मंझे हुए ठग किस्म के लोग आशा वर्कर को झांसे में लेकर जानकारियां एकत्रित करते हैं और बाद में गर्भवती महिलाओं एवं प्रसूताओं के खाते से रुपए उड़ा रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग के ध्यान में यह मामला आ चुका है लेकिन विभाग इस गंभीर मसले में उदासीन रवैया अपनाए हुए हैं और कहीं भी किसी भी प्रकार की कोई लिखित शिकायत स्वास्थ्य विभाग की ओर से पुलिस के पास नहीं की गई है। हालांकि विभाग ने इस संबंध में आशा वर्कज सहित अन्यों में इसको लेकर एडवायजरी जारी कर दी है।

आशा वर्कज से लिया जा रहा गर्भवती महिलाओं का डाटा

पिछले सप्ताह से एक व्यक्ति स्वयं को चिकित्सक बताते हुए जिला की आशा वर्कज को फोन कर रहा है और आला अधिकारी होने का दावा करते हुए उनके अधिकार क्षेत्र में आने वाली गर्भवती महिलाओं और प्रसूताओं की लिस्ट ले रहा है। इस लिस्ट में न केवल महिलाओं के नाम व पते शामिल होते हैं बल्कि मोबाइल नंबर भी लिए जा रहे हैं। यह लिस्ट मिलते ही उक्त ठग गर्भवती महिलाओं और ऐसी महिलाओं जिनकी डिलिवरी हो चुकी है उनको फोन करते हुए उनको ठग रहा है।

आशा वर्कज को दिखाया जा रहा नौकरी जाने का डर

शातिर द्वारा लिस्ट न देने वाली आशा वर्कज को नौकरी से हाथ धोने जैसी धमकियां देकर भी डराया जा रहा है। महिलाओं को राशि मिलने के बहाने उड़ाई जा रही राशि का मामला सामने आने के बाद जब फर्जी चिकित्सक से संपर्क आशा वर्कज से साधा तो चिकित्सक ने उनसे अभद्र व्यवहार भी किया। वहीं कई आशा वर्कज और स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों की भी उक्त फर्जी चिकित्सक से तकरार हुई।

एटीएम नंबर और ओटीपी लेकर महिलाओं के खातों से उड़ा रहा रुपए

फर्जी चिकित्सक गर्भवती महिलाओं व प्रसूताओं को जननी सुरक्षा योजना के तहत मिलने वाली राशि देने के बहाने ठगी का शिकार बना रहा है। महिलाओं को कहा जा रहा है कि उनको योजना के तहत रुपए मिलने वाले हैं और व्हॉटसप पर बैंक खाते की पासबुक और एटीएम कार्ड की फोटो मंगवाई जा रही है। इसके बाद मोबाइल पर आने वाला कोड मांग लिया जा रहा है और तुरंत महिलाओं के खातों से रुपए निकलवाए जा रहे हैं।

ऊना सदर में उड़ाए महिला के खाते से रुपए

उक्त मामला ऊना सदर में सबसे पहले सामने आया। यहां की एक आशा वकर को झांसे में लेकर उससे महिलाओं की लिस्ट ले ली और महिलाओं से उसने संपर्क साधने शुरू कर दिए। इस दौरान एक महिला को झांसे में लेकर उसने जननी सुरक्षा योजना के तहत रुपए आने के बारे कहा गया और उनको झांसे में लेकर एटीएम की जानकारी ली व ओटीपी लेकर उसके खाते से रुपए उड़ा लिया। मामला सामने आने के बाद आशा वकर्ज ने स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को इस संबंध में तुरंत सूचना दी।

आशा वकर्ज को जानकारी शेयर न करने की हिदायत

सूचना मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने एडवायजरी जारी की दी है। आशा वकर्ज को किसी भी तरह से कोई जानकारी किसी से भी शेयर न करने की हिदायत जारी की है। वहीं इस मामले में अभी तक पुलिस के पास कोई शिकायत नहीं दी गई है जबकि सरकारी डाटा के सहारे बड़ी ठगी को अंजाम दिया जा रहा है। बहरहाल केवल मात्र एडवायजरी जारी करके ही विभाग ने इतिश्री कर दी है। आशा वर्कज को यह कहकर पल्ला झाडा जा रहा है कि वह पुलिस में शिकायत दें लेकिन विभाग अपने कर्तव्य से पीछे हट रहा है जबकि इस पूरे फर्जीवाड़े को स्वास्थ्य विभाग के डाटा और केंद्र सरकार की योजना के सहारे अंजाम दिया जा रहा है।

महिलाओं को यह मिलती है सरकारी राशि

गौरतलब है कि गर्भ धारण के बाद महिलाओं के पूरे डाटा को आशा वकर्ज के सहारे एकत्रित किया जाता है। गर्भ धारण से लेकर प्रसूति तक महिलाओं को सरकार द्वारा विभाग योजनाओं के तहत राशि उनके खाते में डाली जाती है। जननी सुरक्षा योजना के तहत एससीएसटी, ओबीसी. और झुग्गियों में रहने वाली महिलाओं को 1100 रुपए महिलाओं के खाते में डाले जाते हैं जबकि प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के तहत 3 किश्तों में 5000 रुपए महिलाओं के खाते में डाले जाते हैं।

जारी की गई है एडवायजरी : बीएमओ

बीएमओ बसदेहड़ा डाॅ. बलराम धीमान ने माना कि ऐसा मामला उनके ध्यान में आया है। इसको लेकर एडवायजरी जारी कर दी गई है कि कोई भी डाटा बिना आज्ञा के किसी को न दिया जाए। डाॅ. धीमान के मुताबिक इसको लेकर आशा वर्कज को कहा गया है कि वह पुलिस में शिकायत दें।

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