शैक्षणिक कार्य पटरी पर लाने को तैयार होगा एग्जिट प्लान : शिक्षा मंत्री

Edited By Vijay, Updated: 22 Apr, 2020 10:12 PM

exit plan will be ready to bring academic work back on track

हिमाचल प्रदेश में शैक्षणिक कार्य पटरी पर लाने के लिए शिक्षा विभाग एग्जिट प्लान तैयार करेगा। शिक्षा विभाग एग्जिट प्लान तैयार करने में जुट गया है। इसको लेकर बैठक होगी। बैठक में कई विकल्पों पर विचार किया जाएगा। बैठक में शिक्षा विभाग के अधिकारियों के...

शिमला (ब्यूरो): हिमाचल प्रदेश में शैक्षणिक कार्य पटरी पर लाने के लिए शिक्षा विभाग एग्जिट प्लान तैयार करेगा। शिक्षा विभाग एग्जिट प्लान तैयार करने में जुट गया है। इसको लेकर बैठक होगी। बैठक में कई विकल्पों पर विचार किया जाएगा। बैठक में शिक्षा विभाग के अधिकारियों के अलावा विश्वविद्यालय के कुलपति को भी बुलाया गया है। सूचना है कि इसको लेकर 24 अप्रैल शुक्रवाल को बैठक होगी और इसमें सभी से चर्चा करने के बाद मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष प्रस्ताव प्रस्तुत किया जाएगा। इसके अलावा खेल कैलेंडर पर भी विचार किया जाएगा।

कई विकल्पों पर विचार कर रही सरकार

बुधवार को शिमला में पत्रकारों से अनौपचारिक बातचीत करते हुए शिक्षा मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि सरकार कई विकल्पों पर विचार कर रही है। इसके तहत शैक्षणिक सत्र व पाठ्यक्रम में कटौती करना तथा शैक्षणिक सत्र की अवधि को बढ़ाना शामिल है। एक विकल्प यह भी है कि ग्रीष्मकालीन स्कूलों में अवकाश को समय से पहले कर दिया जाए ताकि पढ़ाई के लिए अधिक समय मिले। उन्होंने कहा कि एग्जिट प्लान तैयार करने पर विचार किया जा रहा है। इसके लिए शिक्षा विभाग के अधिकारियों और विश्वविद्यालय के कुलपति को बैठक के लिए बुलाया है। सभी से चर्चा करने के उपरांत मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष प्रैजैंटेशन दी जाएगी। शिक्षा विभाग सहित विश्वविद्यालय, स्कूल एजुकेशन बोर्ड आदि से चर्चा करने के बाद एग्जिट प्लान बनाया जाएगा।

सोशल डिस्टैंसिंग मैंटेंन रखने को तैयार किया जाएगा प्लान

उन्होंने कहा कि प्रयास ये हैं कि एग्जिट प्लान ऐसा बने कि जो लाखों विद्यार्थी प्रदेश के स्कूलों में पढ़ते हैं उन्हें हम धीरे-धीरे स्कूलों में ला सकें और कोरोना वायरस के कारण उत्पन्न परिस्थितियों के चलते उनका जो शिक्षा का नुक्सान हुआ है, उसकी भी भरपाई कर सकें। उन्होंने कहा कि स्कूल खुलने की स्थिति में सोशल डिस्टैंसिंग कायम रहे, इसका खास ध्यान रखा जाएगा। हालांकि जहां पर बच्चों की संख्या कम है, वहां पर सोशल डिस्टैंसिंग बनाए रखने में अधिक दिक्कत नहीं आएगी लेकिन जहां पर बच्चं अधिक हैं और स्थान की कमी है, वहां पर किस तरह से सोशल डिस्टैंसिंग मैंटेंन रखी जा सके, इसको लेकर प्लान तैयार किया जाएगा। शिक्षा मंत्री ने कहा कि धीरे-धीरे लॉकडाऊन से बाहर निकला जाएगा। एग्जिट प्लान के तहत लॉकडाऊन से बाहर निकला जाएगा।

ऑनलाइन एजुकेशन को बेहतरीन रिस्पॉन्स मिला

शिक्षा मंत्री ने कहा कि ऑनलाइन एजुकेशन को बेहतरीन रिस्पॉन्स मिला है। उन्होंने कहा कि जब इसकी शुरूआत की थी तो सोचा नहीं था कि इतना अच्छा रिस्पांस मिलेगा, लेकिन उम्मीद से बढ़कर रिस्पॉन्स मिला है। उन्होंने कहा कि जहां पर ऑनलाइन एजुकेशन शुरू करने में दिक्कतें आई, वहां पर दूरदर्शन के माध्यम से बच्चों को पढ़ाई करवाई जा रही है। उन्होंने कहा कि इतिहास में पहली बार डी.डी. शिमला इतने समय के लिए चला है। पहली बार 3 घंटे डीडी शिमला पर शिक्षा विभाग के साथ मिलकर एजुकेशन देने का काम किया जा रहा है। इसके अलावा बच्चों की पढ़ाई के लिए रेडियो के साथ भी एग्रीमैंट साइन कर लिया गया है। उन्होंने कहा कि लॉकडाऊन रहने तक बोर्ड की शेष परीक्षाएं नहीं होंगी। लॉकडाऊन खत्म होने के बाद विकल्पों पर विचार किया जाएगा।

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