मुख्य सचिव की पात्रता को इम्पैनल्ड सूची में शामिल होना अनिवार्य नहीं : वशिष्ठ

Edited By kirti, Updated: 25 Jun, 2018 10:18 AM

chief secretary s eligibility should not be included in the impeded list

मुख्य सचिव हिमाचल प्रदेश विनीत चौधरी की नियुक्ति पर कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला द्वारा सवाल उठाने पर हिमाचल प्रदेश पैंशनर्ज वैल्फेयर एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष एच.आर. वशिष्ठ ने प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि किसी राज्य...

ऊना : मुख्य सचिव हिमाचल प्रदेश विनीत चौधरी की नियुक्ति पर कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला द्वारा सवाल उठाने पर हिमाचल प्रदेश पैंशनर्ज वैल्फेयर एसोसिएशन के प्रदेशाध्यक्ष एच.आर. वशिष्ठ ने प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि किसी राज्य के मुख्य सचिव पद पर तैनाती के लिए जरूरी नहीं है कि उक्त आई.ए.एस. अधिकारी भारत सरकार से सचिव पद की पात्रता के लिए इम्पैनल्ड सूची में शामिल हो। हिमाचल सरकार से संयुक्त सचिव कार्मिक पद से सेवानिवृत्त अधिकारी एच.आर. वशिष्ठ ने कहा कि विनीत चौधरी को दृष्टिविगित करके प्रदेश की तत्कालीन सरकार ने जिन वी.सी. फारका आई.ए.एस. को मुख्य सचिव नियुक्त किया था वह भी भारत सरकार के साथ इस पद की इम्पैनल्ड सूची में नहीं थे।

उनके इस पद पर तैनाती के खिलाफ अपना हक पाने के लिए विनीत चौधरी ने कैट में प्रतिवेदन दिया था जिसे सरकार से इन्हें मुख्य सचिव समतुल्य पद पर तैनाती दी गई थी। हिमाचल प्रदेश में पूर्व में रहे मुख्य सचिवों में से एम.एस. मुखर्जी, एस.राय, पी. मित्रा, ए.एन. विद्यार्थी तथा वी.सी. फारका कोई भी भारत सरकार के सचिव पद के लिए इम्पैनल्ड सूची में नहीं थे। उन्होंने कहा कि विनीत चौधरी की बतौर मुख्यातिथि तैनाती बिल्कुल सही और नियमों के अनुसार है। इस पर कोई आपत्ति उठाना न्यायसंगत नहीं है। 

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