हिमाचल में 5 जगह भाजपा तो 3 जगह कांग्रेस को मिली मात

Edited By Vijay, Updated: 06 Oct, 2018 10:24 PM

bjp from five place and congress defeat from 3 place

प्रदेश में सरकार होने के बावजूद भाजपा को सूबे की कई पंचायत समितियों व नगर पंचायत अर्की में अति उत्साह में प्रस्तुत किए गए अविश्वास प्रस्ताव पर मुंह की खानी पड़ी है। भाजपा को मिली हार की यह फेहरिस्त लम्बी होती जा रही है।

सोलन (नरेश): प्रदेश में सरकार होने के बावजूद भाजपा को सूबे की कई पंचायत समितियों व नगर पंचायत अर्की में अति उत्साह में प्रस्तुत किए गए अविश्वास प्रस्ताव पर मुंह की खानी पड़ी है। भाजपा को मिली हार की यह फेहरिस्त लम्बी होती जा रही है। सुजानपुर, झंडूता व पच्छाद पंचायत विकास समितियों में अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद पर मिली मात के बाद अब इसमें नगर पंचायत अर्की का भी नाम जुड़ गया है, जहां भाजपा को हार का सामना करना पड़ा है। जिला कांगड़ा से सरकार में 4 मंत्री होने के बावजूद भाजपा जिला परिषद उपाध्यक्ष का चुनाव हार गई।

अर्की में भाजपा को करारा झटका
अर्की में भाजपा को करारा झटका लगा है। ग्रामीण विकास बैंक चुनाव में वीरवार को अर्की ब्लॉक से 123 में से 122 वोट मिलने से उत्साहित हुए भाजपा नेताओं को शुक्रवार को ही नगर पंचायत में हार का सामना करना पड़ा। दिलचस्प बात यह है कि नगर पंचायत अर्की में भाजपा समर्थित प्रत्याशियों की संख्या 3 है जबकि भाजपा को केवल 2 ही वोट मिले और कांग्रेस को 4 वोट मिले जबकि एक अवैध घोषित हुआ। कांग्रेस द्वारा अपनी अध्यक्ष को हटाए जाने के बाद भाजपा यह अविश्वास प्रस्ताव लेकर आई थी।

पंचायत विकास समिति सुजानपुर में करना पड़ा हार का सामना
इसी तरह पंचायत विकास समिति सुजानपुर में भी भाजपा को अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद पर हार का सामना करना पड़ा। भाजपा समर्थित सदस्य यह अविश्वास प्रस्ताव लेकर आए थे लेकिन अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद जीतने में नाकाम रहे। वहीं बी.डी.सी. झंडूता में भी भाजपा को अविश्वास प्रस्ताव में हार का सामना करना पड़ा है। भाजपा अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लेकर आई थी लेकिन इन दोनों पदों पर हार का सामना करना पड़ा। झंडूता निर्वाचन क्षेत्र में भाजपा का विधायक है। इसके बावजूद हुई हार ने कई सवाल खड़े कर दिए हंै।

पच्छाद पंचायत विकास समिति में भी मिली हार
पच्छाद पंचायत विकास समिति में भी भाजपा को हार का मुंह देखना पड़ा। कांग्रेस के सामने भाजपा विधायक व स्थानीय नेताओं की सारी रणनीति फेल हो गई। कांग्रेस अध्यक्ष व उपाध्यक्ष पद जीतने में कामयाब रही। भाजपा ही यह अविश्वास प्रस्ताव लेकर आई थी। भाजपा की सबसे ज्यादा किरकिरी जिला परिषद कांगड़ा में हुई। जिला से 4 मंत्री होने के बावजूद भाजपा जिला परिषद उपाध्यक्ष पद के लिए हुआ चुनाव हार गई। इस चुनाव में भाजपा के 5 तथा कांग्रेस का एक ही उम्मीदवार था। कांगड़ा में पार्टी की गुटबाजी के कारण यह हार हुई। बी.डी.सी. अम्ब में भाजपा उपाध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लेकर आई थी लेकिन इस पद के लिए हुए चुनाव में पार्टी को हार झेलनी पड़ी।

यहां कांग्रेस को मिली मात
जिला परिषद, पंचायत विकास समिति व स्थानीय निकायों में भाजपा को हर जगह हार ही नहीं मिली है। कुछ अध्यक्ष व उपाध्यक्ष के पद कांग्रेस से छीनने में भी कामयाब रही है। जिला परिषद मंडी में भाजपा अध्यक्ष व उपाध्यक्ष का पद जीतने में कामयाब रही। इसी तरह पंचायत विकास समिति गगरेट में भी भाजपा कांग्रेस से अध्यक्ष का पद छीनने में कामयाब रही है। इसी तरह हरोली के बढेड़ा पंचायत विकास समिति में भी भाजपा उपाध्यक्ष का पद जीतने में कामयाब रही है। 

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