Edited By kirti, Updated: 25 May, 2018 12:05 PM
हिमाचल प्रदेश युवा कांग्रेस के सचिव एवं प्रवक्ता अभिषेक राणा ने कहा कि प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाएं पूरी तरह पटरी से उतर जाने से मरीज बेहाल हैं जबकि सरकार सो रही है। स्थिति यह है कि स्वास्थ्य संस्थानों के बाहर घंटों लाइन में लगे रहने के बावजूद मरीजों...
बिलासपुर : हिमाचल प्रदेश युवा कांग्रेस के सचिव एवं प्रवक्ता अभिषेक राणा ने कहा कि प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाएं पूरी तरह पटरी से उतर जाने से मरीज बेहाल हैं जबकि सरकार सो रही है। स्थिति यह है कि स्वास्थ्य संस्थानों के बाहर घंटों लाइन में लगे रहने के बावजूद मरीजों को न तो उचित उपचार मिल रहा है और न ही दवाइयां उपलब्ध हैं। अभिषेक राणा ने कहा कि एक तरफ सरकार लोगों को घर-द्वार पर बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया करवाए जाने के ढोल पीट रही है, वहीं दूसरी तरफ प्रदेश के अधिकांश स्वास्थ्य संस्थान डॉक्टरों व स्टाफ की कमी के कारण सिर्फ रैफरल अस्पताल बनकर रह गए हैं और छोटी-मोटी बीमारियों से ग्रस्त लोगों को भी बड़े अस्पतालों में रैफर किया जा रहा है।
लोगों को मानसिक परेशानी का सामना करना पड़ रहा
उन्होंने कहा कि राज्य के 2 बड़े अस्पतालों इंदिरा गांधी मैडीकल कालेज शिमला व टांडा मैडीकल कालेज में ढांचागत सुविधाओं की भारी कमी है और इन अस्पतालों में जितनी सुविधाएं हैं उससे कहीं अधिक मरीज उचित उपचार के लिए भटक रहे हैं। अभिषेक राणा ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में तो स्वास्थ्य सेवाओं का और भी बुरा हाल है जिस कारण लोगों को मानसिक परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।उन्होंने कहा कि अधिकांश स्वास्थ्य संस्थानों में आपात स्थिति में भी विशेषज्ञ चिकित्सकों की सेवाएं, एम्बुलैंस और दवाइयां उपलब्ध नहीं हैं।
स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली का मुद्दा
उन्होंने कहा कि मरीजों और उनके तीमारदारों की पुकार सुनने वाला कोई नहीं है और सरकार सोई है। अभिषेक राणा ने कहा कि पूर्व कांग्रेस सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में जो स्वास्थ्य संस्थान खोले थे उन संस्थानों से चिकित्सकों व स्टाफ को बदल दिए जाने से ये संस्थान महज शोपीस बनकर रह गए हैं। उन्होंने कहा कि विधानसभा में भी सदस्यों ने स्वास्थ्य सेवाओं की बदहाली का मुद्दा उठाया था लेकिन अभी तक सरकार की तरफ से कोई सकारात्मक कदम नहीं उठाए गए हैं जिस कारण आम आदमी को लगातार परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।