Edited By Punjab Kesari, Updated: 17 Sep, 2017 01:24 AM
जिला के एक सरकारी प्राइमरी स्कूल में पहली से 5वीं कक्षा तक एक ही अध्यापक पढ़ता है, जिसके चलते उक्त अध्यापक पर काम का इतना बोझ है कि वह बच्चों को ठीक से पढ़ा भी नहीं पा रहा है।
हमीरपुर: जिला के एक सरकारी प्राइमरी स्कूल में पहली से 5वीं कक्षा तक एक ही अध्यापक पढ़ता है, जिसके चलते उक्त अध्यापक पर काम का इतना बोझ है कि वह बच्चों को ठीक से पढ़ा भी नहीं पा रहा है। हालात यह हैं कि उक्त अध्यापक बच्चों द्वारा ठीक किए सवालों को गलत कर देता है और गलत किए सवालों को ठीक कर देता है। उक्त अध्यापक की इस बड़ी चूक का जब बच्चों के अभिभावकों ने पता चला तो उनके पैर के नीचे से जमीन खिसक गई। जिला में ऐसा मामला सामने आने से एक बार फिर से सरकारी स्कूलों में शिक्षा के न्यूनतम स्तर सामने आया है, जिससे सरकारी स्कूलों में पढऩे वाले बच्चों का भविष्य अंधकारमय बन रहा है।
स्कूल कॉपी ऐसे ही चैक होती है
मामले के चलते जब लड़की के पिता ने शनिवार को स्कूल पहुंच कर उक्त शिक्षक से इसके बारे में पूछा तो उसने कहा कि स्कूल कॉपी ऐसे ही चैक होती है तथा आप स्कूल से चले जाओ। चौथी कक्षा में पढऩे वाली लड़की के पिता ने उक्त शिक्षक पर आरोप लगाए हैं कि वह बच्चों को ठीक से नहीं पढ़ाता है, जिससे उनके बच्चों का भविष्य खराब हो रहा है। उसने यह भी आरोप लगाए कि उक्त शिक्षकघरेलू बातें उसकी बड़ी बेटी से पूछता है, जोकि छठी कक्षा में पढ़ती है। उक्त अभिभावक ने एक शिकायत पत्र डी.सी. हमीरपुर के माध्यम से शिक्षा उपनिदेशक (प्राइमरी) को भी दिया है तथा उक्त मामले की जांच कर दोषी के खिलाफ कार्रवाई अमल में लाने की गुहार लगाई है।
लड़की बोली-जो मेरे शिक्षक ने पढ़ाया वही ठीक
जिला के एक सरकारी प्राइमरी स्कूल की चौथी कक्षा में पढऩे वाली लड़की की कॉपी जब उसके पिता ने घर पर चैक की तो गुरु जी ने ठीक सवालों को कॉपी पर गलत दर्शाया है और गलत सवालों को ठीक दर्शा दिया है। जब लड़की के पिता ने लड़की से पूछा कि यह सवाल गलत है तो लड़की ने कहा कि नहीं जो मेरे शिक्षक ने पढ़ाया है, वही ठीक है। वहीं स्कूल के शिक्षक का कहना है कि लड़की का पिता झूठे आरोप लगा रहा है तथा ऐसा कुछ भी नहीं हुआ है। उधर, शिक्षा उपनिदेशक (एलीमैंटरी) कार्यालय के बी.ओ. देसराज का कहना है कि उक्त मामले में एक शिकायत पत्र मिला है जिसकी जांच के आदेश दे दिए गए हैं।