Edited By Punjab Kesari, Updated: 02 Aug, 2017 06:05 PM
बेशक हिमाचल प्रदेश डिजिटल बनने की ओर कदम बढ़ा रहा हो लेकिन नौसिखिए कर्मचारियों की लापरवाही का खमियाजा आम जनता को भुगतना पड़ रहा है।
घुमारवीं: बेशक हिमाचल प्रदेश डिजिटल बनने की ओर कदम बढ़ा रहा हो लेकिन नौसिखिए कर्मचारियों की लापरवाही का खमियाजा आम जनता को भुगतना पड़ रहा है। डिजिटल राशन कार्ड में गलतियों की भरमार है, जिसके चलते लोगों को दिक्कतों का सामना करन पड़ रहा है। सरकार द्वारा डिजिटल राशनकार्ड महिलाओं के नाम से बनाए गए हैं लेकिन उनके नाम के साथ पति का नाम तक अंकित ही नहीं किया गया है। सिर्फ राशन कार्डों में डिपो का नाम दर्ज है जबकि इसमें न तो पंचायत और न ही वार्ड का नाम व पता है। हैरानी तो इस बात की है कि कई राशन कार्डों में बी.पी.एल. के स्थान पर ए.पी.एल. और ए.पी.एल. के स्थान पर बी.पी.एल. अंकित कर दिया गया है।
राशन कार्ड से उपभोक्ताओं के नाम गायब
कई जगह पर तो डिजिटल राशन कार्ड से उपभोक्ताओं के नाम ही गायब हैं। अधिकारियों की लापरवाही के चलते आम लोग परेशान हंै, परिवार के सदस्यों की संख्या कम दर्ज होने के कारण लोगों को राशन के कोटे में भी घाटा उठाना पड़ रहा है। वहीं इस बारे में जिला खाद्य आपूर्ति अधिकारी खेम सिंह का कहना है कि डिजिटल राशन कार्ड में कई गलतियां सामने आई हैं, जिसकी शिकायत उन्हें मिली है। उन्होंने कहा कि जिन लोगों को दिक्कत पेश आ रही है वह अपने नजदीकी कार्यालय में आकर गलतियों को ठीक करवा सकते हैं।