Edited By Punjab Kesari, Updated: 21 Sep, 2017 08:34 PM
प्रदेश हाईकोर्ट ने के.सी.सी. बैंक में विभिन्न श्रेणियों के 216 पदों के लिए होने वाली भर्ती से जुड़े मामले में अपने स्थगन आदेशों से रोक हटा दी है।
शिमला: प्रदेश हाईकोर्ट ने के.सी.सी. बैंक में विभिन्न श्रेणियों के 216 पदों के लिए होने वाली भर्ती से जुड़े मामले में अपने स्थगन आदेशों से रोक हटा दी है। कोर्ट ने अपने पिछले आदेशों में संशोधन करते हुए बैंक को यह छूट दे दी कि वह इन पदों पर होने वाली नियुक्ति को अंतिम रूप दे सकता है मगर सफल उम्मीदवारों की नियुक्ति याचिकाओं पर होने वाले अंतिम निर्णय पर ही निर्भर करेगी। उल्लेखनीय है कि इस मामले में हाईकोर्ट ने यह अंतरिम आदेश पारित कर रखे थे कि भर्ती प्रक्रिया बेशक जारी रखी जाए परंतु इन्हें अंतिम रूप केवल कोर्ट की ही इजाजत से दिया जाएगा। कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय करोल व न्यायाधीश संदीप शर्मा की खंडपीठ ने अपने आदेशों में यह स्पष्ट किया कि कोर्ट के आदेशों का उल्लेख नियुक्ति पत्रों में विशेष तौर पर अंकित किया जाए। दायर याचिकाओं में आरोप लगाया गया है कि के.सी.सी. बैंक की भर्ती परीक्षा का आयोजन भारतीय रिजर्व बैंक के नियमों को दरकिनार कर किया गया है।
ये हैं आर.बी.आई. के निर्देश
आर.बी.आई. द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के मुताबिक अगर किसी बैंक की नॉन-परफॉर्मिंग एसेट्स (एन.पी.ए.) 12 फीसदी से ज्यादा है तो वह बैंक न तो कोई नई शाखा खोल सकता है और न ही कोई नई भर्ती कर सकता है। आरोपों के अनुसार वर्तमान में के.सी.सी. बैंक की एन.पी.ए. 15.29 फीसदी है, ऐसे में नई भर्ती करना कानूनी तौर पर गलत है। इसके अलावा पहले से ही रजिस्ट्रार को-आप्रेटिव सोसायटी ने आदेश जारी कर रखा है कि के.सी.सी. बैंक से जुड़ी कोई भी भर्ती आई.बी.पी.एस., अधीनस्थ चयन बोर्ड या राज्य लोक सेवा आयोग के माध्यम से की जाएगी लेकिन इस आदेश को भी नजरअंदाज कर भर्ती की जा रही है। मामले पर सुनवाई 16 नवम्बर को होगी।