Edited By Punjab Kesari, Updated: 31 Jan, 2018 04:30 PM
हिमाचल पथ परिवहन निगम ने अक्तूबर, 2017 में टी.एम.पी.ए. के 1300 पद भरने के लिए परीक्षा ली थी, जिसमें 3,616 अभ्यर्थी पास हुए थे और इन परीक्षार्थियों के दस्तावेजों का पुनर्मूल्यांकन भी हो गया है।
रिवालसर: हिमाचल पथ परिवहन निगम ने अक्तूबर, 2017 में टी.एम.पी.ए. के 1300 पद भरने के लिए परीक्षा ली थी, जिसमें 3,616 अभ्यर्थी पास हुए थे और इन परीक्षार्थियों के दस्तावेजों का पुनर्मूल्यांकन भी हो गया है। सरकार ने नतीजा निकालने की पूरी तैयारी कर ली थी लेकिन आचार संहिता लग जाने के कारण परिणाम नहीं निकल पाया था लेकिन सत्ता बदलते ही अभ्यर्थियों की नियुक्तियों पर अब संकट के बादल छा गए हैं। जिला मंडी से परीक्षा में पास हुए परीक्षार्थियों में रवि सिंह, भूप चंद, टूरी राजपूत, अमीं चंद, सोनू, पूर्ण चंद, तरुण शर्मा व डिंपल ठाकुर आदि का कहना है कि सरकार ने जानबूझ कर बदले की भावना से इस भर्ती के परिणाम पर रोक लगा रखी है तथा वह इसे रद्द करने की फिराक में है।
अधिकारियों के हस्ताक्षर नहीं तो परीक्षार्थियों की क्या गलती
सरकार का अब यह कहना कि कुछ उत्तर पुस्तिकाओं पर अधिकारियों के हस्ताक्षर नहीं हैं तो इसमें परीक्षार्थियों की क्या गलती है। प्रदेश सरकार बाहरी मन से साबित करने की कोशिश कर रही है कि वह इस भर्ती को बदले की भावना से नहीं देखती है। अभ्यर्थियों का यह भी कहना है कि सरकार परिणाम जल्द घोषित करे। अगर ऐसा नहीं होता है तो उन्हें मजबूर होकर न्यायालय का दरवाजा खटखटाना पड़ेगा।